सर्वे : चालू वित्त वर्ष में 9.2 फीसदी की दर से ग्रो करेगी जीडीपी , 2022-23 में 8-8.5 फीसदी रहने का अनुमान
निजी गाड़ियों का किराया भुगतान कर रहा जिला प्रशासन
जानकारी के अनुसार, जिला प्रशासन में गाड़ी नंबर – JH01 CL 8015, टाटा जेस्ट का उपयोग भू-अर्जन पदाधिकारी अंजना दास कर रही हैं. यह वाहन लगभग 2020 के अक्टूबर माह से प्रयोग में है. वहीं JH01EC 2981 महिंद्रा स्कॉर्पियो का इस्तेमाल एसडीओ दीपक दूबे कर रहे हैं.एनएचएआई के कंटीजेंसी फंड से किया जा रहा भुगतान
इन दोनों वाहनों के किराये का भुगतान जिला भू-अर्जन कार्यालय को एनएचएआई के द्वारा दी जा रही कंटीजेंसी फंड से किया जा रहा है. जानकारी के अनुसार, एसडीएम की स्कॉर्पियों के लिए हर महीने लगभग 70,000 रुपये का भुगतान किया जा रहा है. वहीं भू-अर्जन पदाधिकारी की गाड़ी के लिए लगभग 1200 रुपये प्रति दिन और तेल के लिए अलग से भगुतान किया जा रहा है.निजा वाहन का नहीं कर सकते हैं कमर्शियल उपयोग
नियम के अनुसार, किसी भी वाहन का व्यवसायिक प्रयोग के लिए वाहन का कमर्शियल रजिस्ट्रेशन (टैक्सी) के रुप में रजिस्टर्ड होना अनिवार्य है. और कमर्शियल वाहनों का नंबर पेल्ट भी पीला होना चाहिए. निजा वाहनों का कमर्शियल इस्तेमाल में पकड़े जाने पर डीटीओ द्वारा फाइन लगाया जाता है. लेकिन जिला प्रशासन में ये दो वाहनों को नियमों को ताक पर रखकर चलाई जा रही है.निजी गाड़ियों का नहीं हो सकता कमर्शियल इस्तेमाल - डीटीओ
क्या निजी गाड़ियों को कमर्शियली किराए पर इस्तेमाल किया जा सकता है या नहीं, इसके जवाब में जिला परिवहन पदाधिकारी प्रवीण कुमार प्रकाश ने बताया कि निजी वाहनों का इस्तेमाल कमर्शियल तौर पर नहीं किया जा सकता है. अगर किसी अधिकारी के पास गाड़ी नहीं है और उनके लिए प्रशासन कोई गाड़ी बुक करता है तो उसका पेमेंट निर्वाचन विभाग के गाइडलाइन्स के अनुसार किया जाता है.आपको जो भी जानकारी चाहिए डीसी से लें - अंजना दास
आगे दी गई जानकारी के अनुसार, इन गाड़ियों का पेमेंट भू-अर्जन विभाग के कंटीजेंसी फंड से किया जा रहा है. मामले में जब जिला भू-अर्जन पदाधिकारी से बात किया गया तो उन्होंने इनके बारे में कुछ भी कहने से इंकार कर दिया. उन्होंने कहा कि हम इसके बारे में कुछ नहीं जानते. आपको जो भी जानकारी चाहिए आप डीसी से जाकर बात करें.रांची डीसी ने नहीं दिया कोई जवाब
रांची डीसी से लगातार संवाददाता ने संपर्क करने के लिए फोन किया तो उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया. इसके बाद उन्हें मैसेज करके पक्ष लेना चाहा तो उसका भी की जवाब नहीं मिला. उनका पक्ष आने पर खबर को अपडेट किया जायेगा. इसे भी पढ़ें –7th-10th">https://lagatar.in/7th-10th-jpsc-after-continuous-troubles-many-officers-of-the-commission-may-fall/">7th-10thJPSC : लगातार फजीहतों के बाद गिर सकती है आयोग के कई अधिकारियों पर गाज! [wpse_comments_template]

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