टीबी के साथ कुपोषण की चपेट में थी सीता
रिम्स के मेडिसिन विभाग के डॉ विद्यापति की देखरेख में सीता का इलाज चल रहा था. चिकित्सक के अनुसार वह टीबी (यक्ष्मा) और कुपोषण की शिकार थी. चिकित्सकों द्वारा उसका इलाज किया जा रहा था, लेकिन उसे बचाया नहीं जा सका.पोस्टमार्टम की कराई गई वीडियोग्राफी
वहीं मृतक कैदी सीता की पोस्टमार्टम प्रक्रिया की वीडियोग्राफी कराई गई. इस बाबत बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा के अधीक्षक ने रिम्स अधीक्षक डॉ हिरेंद्र बिरुआ को पत्राचार कर पोस्टमार्टम का वीडियोग्राफी कराने का आग्रह किया था. इसे भी पढ़ें – रांची-">https://lagatar.in/vande-bharat-express-will-run-between-ranchi-howrah-soon-railway-minister/">रांची-हावड़ा के बीच जल्द दौड़ेगी वंदे भारत एक्सप्रेस : रेल मंत्री [wpse_comments_template]
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