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बोकारो के चेचकाधाम में पुजारी के साथ ही पक्षियों पर भोजन का संकट

कुम्हरी गांव में है मंदिर

Bokaro: कोविड का असर आमलोगों पर ही नहीं, बल्कि पशु-पक्षियों पर भी पड़ रहा है. इसका असर हर जगह देखा जा रहा है. बोकारो जिले के कुम्हरी गांव स्थित बहुचर्चित चेचकाधाम में बड़ी संख्या में पक्षियों का बसेरा है. लॉकडाउन में पक्षियों को सामने भोजन का संकट उत्पन्न हो गया है. 

दान से होता है गुजारा

मंदिर कमेटी के अध्यक्ष सपन दत्ता ने कहा कि जितना हमसे बन पा रहा है कर रहे हैं. पंछी भूख से मरने लगे हैं. पहले ऐसी स्थिति नहीं थी. काफी संख्या में श्रद्धालु मंदिर में पूजा करने आते थे. तब उनके द्वारा दान में मिलने वाले पैसों से पंडित और उनके परिवार का भरण-पोषण होता था. लॉकडाउन के कारण श्रद्धालु यहां नहीं आ रहे हैं. इससे भुखमरी का संकट हो गया है.

कोरोना काल में अब मंदिर पर निर्भर रहने वाले पंडितों के साथ ही पक्षियों को भी मदद की जरूरत है. यदि समय रहते इसपर विचार नहीं किया गया तो भारी संख्या में पक्षियों की मौत हो सकती है. ऐसे ग्रामीणों द्वारा सहयोग किया जा रहा है. अध्यक्ष ने सरकार और जिला प्रशासन से सहयोग की अपील की है. कहा कि चेचकाधाम को पर्यटन स्थल बनाने की घोषणा की गई है. ऐसे में इसका महत्व और बढ़ जाता है. इस धरोहर को सुरक्षित रखने पर ध्यान दिया जाना चाहिए.

 

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