alt="" width="960" height="1280" /> गैर अनुसूचित जिलों में इतिहास नागरिक शास्त्र की नियुक्ति को लेकर कार्मिक विभाग ने उच्च शिक्षा विभाग को पत्र जारी किया है[/caption] इसे भी पढ़ें- BREAKING:">https://lagatar.in/breaking-eight-accused-including-aryan-khan-sent-to-jail/">BREAKING:
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सीएम हेमंत सोरेन ने दिया था संकेत
अभ्यर्थियों के अनुसार झारखंड उच्च न्यायालय ने 21 सितंबर, 2020 को सोनी कुमारी केस में स्पष्ट कर दिया है कि गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति पर पर किसी प्रकार की रोक नहीं है. लेकिन कार्मिक विभाग द्वारा उनकी नियुक्ति पर रोक लगा दी गयी है. सर्वोच्च न्यायालय में एसएलपी दायर करने के बाद शीर्ष न्यायालय ने भी स्पष्ट किया है कि गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति प्रक्रिया पर किसी प्रकार की रोक नहीं है. इससे पहले झारखंड उच्च न्यायालय ने 13 अधिसूचित जिलों में हाई स्कूल शिक्षकों की नियुक्ति पर रोक लगा दी थी. कोर्ट का आदेश आने के बाद राज्य सरकार ने सभी जिलों में (इसमें गैर अनुसूचित जिला भी शामिल थे) उन विषयों में चल रही नियुक्ति प्रक्रिया पर रोक लगा दी. राज्य सरकार के इस फैसले के बाद गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति को लेकर इतिहास और नागरिक शास्त्र के अभ्यर्थियों ने सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था. इसे भी पढ़ें- आजसू">https://lagatar.in/ajsu-supremo-sudesh-targeted-the-hemant-government-said-the-chief-minister-is-doing-mining-work/">आजसूसुप्रीमो सुदेश ने हेमंत सरकार को निशाने पर लिया, कहा – मुख्यमंत्री के चट्टे-बट्टे कर रहे हैं माइनिंग का काम [wpse_comments_template]
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