Jamshedpur : वर्ष-2021 मार्च से वर्तमान स्थिति तक कोरोना महामारी के दूसरे दौर के कारण पूरा विश्व काफी विषम परिस्थितियों से गुजर रहा है. इस आपदाकाल में गौशाला के समस्त पदाधिकारियों, कर्मचारियों और सहयोगकर्ताओं द्वारा दिए गए योगदान के लिए दीपक अग्रवाल ने उन्हें धन्यवाद दिया है. दीपक सवामणी कार्यक्रम के संयोजक और गौसेवा 2021 स्मारिका के सह संयोजक हैं. उन्होंने कहा कि 11 नवंबर की सुबह 10 बजे से जुगसलाई गौशाला में गो माता का पूजन, आरती और प्रसाद लगाया जाएगा. पुण्यदायी आंवला-नवमी शुक्रवार, 12 नवंबर को कालियाडीह-गौशाला में सुबह 10 बजे से रामभक्त श्री बजरंगबली महाराज का पूजन एवं भजन किया जाएगा. श्री टाटानगर गौशाला कमेटी के पदाधिकारियों ने मुझपर विश्वास कर सवामणी कार्यक्रम संयोजक और गौसेवा स्मारिका का सहसंयोजक का पदभार दिया है. 10 सितंबर 2020, से सवामणी कार्यक्रम की शुरुआत की गई. इसके अंतर्गत गौ माता के लिए गेहूं-दलिया का भोग गौ-आहार के रूप में तैयार किया जाता है. अब तक लगभग 500 गौ भक्तों द्वारा सर्वदेवमयी गौ माता हेतु सवामणी करवाई जा चुकी है.
एक सवामणी का खर्च है 1500 रुपए
20 सितंबर – 2006 अक्टूबर तक पितृपक्ष में 130 गौभक्तों ने अपने-अपने पितरों के नाम पर सवमणी का आयोजन किया. ना केवल पितरों की स्मृति में बल्कि स्वयं अथवा परिवार के सदस्यों के जन्मदिन अथवा वैवाहिक-वर्षगांठ आदि मांगलिक अवसरों पर गाय के नाम पर अथवा दान के नाम पर सवामणी का आयोजन करवाया जा सकता है. वर्तमान में एक सवामणी का खर्च मात्र 1500 रुपए है, जिसमें 40 किलो गेहूं और 10 किलो गुड़ को मिलाकर दलिया तैयार किया जाता है. दीपक ने कहा कि स्थानीय गौशाला में लगभग 1850 गौवंश वर्तमान में है. इसमें करीब 1400 गौवंश अदुग्धवती, बूढ़ी, लाचार, अपंग एवम् कसाइयो से बचाई हुई है. इनकी मोक्ष प्राप्ति तक सेवा-सुक्षुषा एवं मृत्यु पश्चात संस्कार, मोक्षधाम में किया जाता है. कोरोना महामारी के दौरान समस्त दानदाताओं, पदाधिकारियों, कर्मचारियों, सम्माननीय-सदस्यों और संयोजकों द्वारा अर्थ-संग्रह हेतु प्रयासरत होकर गौशाला को अनवरत वर्तमान समय तक चला रहे हैं.