कॉलेज में शिक्षकेत्तर कर्मचारियों के 60 पद सृजित, तृतीय वर्ग में 31 व चतुर्थ वर्ग में 29 पद होंगे
बैठक में कई आला अधिकारी रहे उपस्थिति
इस बैठक में झारखंड लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष अमिताभ चौधरी, अपर मुख्य सचिव, उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग केके खंडेलवाल, राज्यपाल के अपर मुख्य सचिव शैलेश कुमार सिंह, योजना-सह-वित्त विभाग के प्रधान सचिव अजय कुमार सिंह, दक्षिणी छोटानागपुर प्रमण्डल के आयुक्त - सह - प्रभारी कुलपति डॉ. नितिन कुलकर्णी सहित विभिन्न विश्वविद्यालयों के कुलपति, प्रभारी कुलपति मौजूद थे.विद्यार्थियों के भविष्य से किसी भी स्थिति में खिलवाड़ नहीं होना चाहिये
इस दौरान गवर्नर ने कहा कि शिक्षण संस्थानों में आधारभूत संरचनाएं मौजूद होनी चाहिये. विद्यार्थियों के भविष्य के साथ किसी भी स्थिति में खिलवाड़ नहीं होना चाहिये. अब कक्षाएं भी ऑफलाइन प्रारंभ हो गई हैं. ऐसे में हमें विद्यार्थियों के शिक्षण पर और विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है. राज्यपाल ने वित्त विभाग से कहा कि शिक्षाहित में विश्वविद्यालयों की आवश्यकताओं को प्राथमिकता के आधार पर कार्य करने की कोशिश करें. इस अवसर पर एसकेएमयू अंन्तर्गत महिला महाविद्यालय परिसर में प्राचार्य आवास के निर्माण पर भी चर्चा हुई.जानिये, अधिकारियों ने क्या-क्या कहा
बैठक में जेपीएससी अध्यक्ष अमिताभ चौधरी ने कहा कि विश्वविद्यालय आपत्तियों का जबाव शीघ्र जारी करें. उच्च एवं तकनीकी शिक्षा के अपर मुख्य सचिव केके खण्डेलवाल ने कहा कि सभी नियम-कानूनों के तहत कार्य करें. किसी कर्मी का वेतन निर्धारण हेतु प्रस्ताव सही तथ्यों के साथ प्रेषित करें. अनावश्यक मामले न आयें इसके लिए जरूरी है कि सभी जबावदेही के साथ काम करें. इसे भी पढ़ें-आर्यन">https://lagatar.in/aryan-troubles-may-increase-objectionable-things-found-whatsapp-ncb-sought-custody-till-october-11/">आर्यनकी बढ़ सकती हैं मुश्किलें, व्हाट्सएप पर मिलीं आपत्तिजनक चीजें, एनसीबी ने मांगी 11 अक्टूबर तक कस्टडी
गवर्नर का निर्देश, विश्वविद्यालय समयबद्ध होकर कार्य करें, शिथिलता न बरतें
गवर्नर ने सभी विश्वविद्यालय को समयबद्ध होकर कार्य करने की भी बात कहीं. उन्होंने कहा, किसी भी स्तर पर शिथिलता न बरतें. छात्रहित में कुलाधिपति कार्यालय विश्वविद्यालय के लिये हर क्षण उपलब्ध है. इस बात पर भी चिंता जताई है कि झारखंड लोक सेवा आयोग द्वारा किसी पद पर चयन कर अनुशंसा करने के बाद भी विश्वविद्यालय द्वारा योगदान कराने में विलम्ब होता है. उन्होंने कहा कि ऐसा कराना उचित नहीं है. विश्वविद्यालय को किसी प्रकार की शंकाएं हों तो कुलाधिपति कार्यालय तथ्यों के साथ अविलंब भेजें. उन्होंने माना कि विश्वविद्यालयों में कई गंभीर समस्याएं हैं, लेकिन इच्छाशक्ति से निदान किया जा सकता है. इसके लिए हम सभी को सामूहिक प्रयास करने की आवश्यकता है. इसे भी पढ़ें-पैंडोरा">https://lagatar.in/sachin-name-pandora-papers-many-big-politicians-included-released-report/">पैंडोरापेपर्स में सचिन का भी नाम! जारी रिपोर्ट में शामिल हैं कई बड़े राजनेता और सेलिब्रिटी [wpse_comments_template]
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