जल जीवन मिशन में फिसड्डी
पहले से जल जीवन मिशन में फिसड्डी चल रही हेमंत सरकार ने मौजूदा बजट में तो सारी सीमाएं पार कर दी हैं. फरवरी तक पेयजल विभाग ने योजना और विकास की सिर्फ 10% राशि ही खर्च की है. 4500 करोड़ रुपयों के विभाग के बजट के तुलना में फरवरी तक सिर्फ 438 करोड रुपए खर्च हुए हैं. ऐसी स्थिति में कई पेयजल योजनाएं अटक गए हैं. जल जीवन मिशन के लिए केंद्र सरकार झारखंड सरकार को बहुत बार नसीहत दे चुकी है. अभी भी झारखंड के लगभग लाख घरों में नल से जल नहीं पहुंच पाया है. पेयजल विभाग में फरवरी तक सिर्फ 10% राशि का खर्च होना एक आपराधिक मामला है.हर घर में नल योजना में राष्ट्रीय औसत से 25% पीछे है झारखंड
झारखंड में 62,55,717 घर है. अभी तक सिर्फ 34,19,100 में नल से जल पहुंचा है. जहां इस योजना का राष्ट्रीय औसत 79.79% है. वहीं झारखंड में इसका औसत सिर्फ 54.66% है. यानि राष्ट्रीय औसत से झारखंड 25% पीछे चल रहा है. राज्य के आज भी 45% घरों में नल से जल नहीं जाता है. इस वित्तीय वर्ष में इस योजना की स्थिति शर्मसार करने वाली है. अब तक 10 महीना में सिर्फ 1,89,845 घरों में नल से जल पहुंचा है. राज्य सरकार के द्वारा केंद्र से मिले पैसे का यूटिलिटी सर्टिफिकेट नहीं देने के कारण योजना पर ग्रहण लग गया है. इसे भी पढ़ें – लोकसभा">https://lagatar.in/on-pm-modis-maha-kumbh-speech-in-lok-sabha-rahul-gandhi-said-he-did-not-even-pay-tribute-to-those-who-lost-their-lives-there/">लोकसभामें पीएम मोदी की महाकुंभ स्पीच पर राहुल गांधी ने कहा, वहां जान गंवाने वालों को श्रद्धांजलि तक नहीं दी हर खबर के लिए हमें फॉलो करें Whatsapp Channel: https://whatsapp.com/channel/0029VaAT9Km9RZAcTkCtgN3q
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