New Delhi : कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा है कि अगर आगामी लोकसभा चुनाव के बाद उनकी पार्टी सत्ता में आती है तो जातिगत जनगणना के साथ आर्थिक मैपिंग’ कराई जायेगी. इसके आधार पर आरक्षण की 50 प्रतिशत की सीमा खत्म की जायेगी. उन्होंने कहा कि यह कदम उचित आरक्षण, हक और हिस्सेदारी दिलायेगा. राहुल गांधी ने शनिवार को एक्स पर पोस्ट किया, क्या हमने कभी सोचा है कि गरीब कौन हैं, कितने हैं और किस स्थिति में है? क्या इन सभी की गिनती जरूरी नहीं?
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क्या हमने कभी सोचा है कि गरीब कौन हैं? कितने हैं और किस स्थिति में है? क्या इन सभी की गिनती ज़रूरी नहीं?
बिहार में हुई जातिगत गिनती से पता चला कि गरीब आबादी के 88% लोग दलित, आदिवासी, पिछड़े और अल्पसंख्यक समाज से आते हैं।
बिहार से आए आंकड़े देश की असली तस्वीर की एक छोटी सी झलक… pic.twitter.com/RGZ1xgBN9U
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) March 9, 2024
हमें अंदाजा तक नहीं कि गरीब आबादी किस हाल में जी रही है
उन्होंने कहा कि बिहार में हुई जातिगत गणना से पता चला कि गरीब आबादी के 88 प्रतिशत लोग दलित, आदिवासी, पिछड़े और अल्पसंख्यक समुदायों से हैं. कांग्रेस नेता ने कहा, बिहार से आये आंकड़े देश की असली तस्वीर की एक छोटी सी झलक मात्र हैं. हमें अंदाज़ा तक नहीं है कि देश की गरीब आबादी किस हाल में जी रही है. उन्होंने कहा, इसीलिए हम दो ऐतिहासिक कदम उठाने जा रहे हैं – जातिगत गिनती एवं आर्थिक मैपिंग, जिसके आधार पर हम 50 प्रतिशत की आरक्षण सीमा को उखाड़ कर फेंक देंगे.
उठो, जागो, आवाज उठाओ, जातिगत गिनती तुम्हारा हक है
राहुल गांधी ने कहा कि यह कदम देश का एक्स-रे कर सभी को उचित आरक्षण, हक और हिस्सेदारी दिलायेगा. उन्होंने कहा, इससे गरीबों के लिए न सिर्फ सही नीतियां और योजनाएं बनाई जा सकेंगी बल्कि उन्हें पढ़ाई, कमाई और दवाई के संघर्ष से उबार कर विकास की मुख्यधारा से जोड़ा भी जा सकेगा. राहुल गांधी ने कहा, इसलिए उठो, जागो और अपनी आवाज़ उठाओ. जातिगत गिनती तुम्हारा हक है और यही तुम्हें मुश्किलों के अंधेरों से निकाल कर उजालों की ओर ले जायेगी. गिनती करो.. हमारा नारा है, क्योंकि गिनती न्याय की पहली सीढ़ी है.
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