- झारखंड के सभी जिलों में हो रहा बालू का अवैध खनन
- राज्य में बालू घाटों की संख्या 796
- अभी तक बालू घाटों की नहीं हो पायी है नीलामी
- एनजीटी ने 15 अक्टूबर तक बालू उठाव पर लगाई है रोक
Saurav Singh Ranchi : झारखंड में 796 बालू घाट हैं. लेकिन आज तक इन बालू घाटों की नीलामी नहीं हो पायी है. इस वजह से झारखंड के सभी जिलों में बालू का अवैध खनन थमने का नाम नहीं ले रहा है. प्रशासन की नाक के नीचे से बालू की कालाबाजारी हो रही है. ट्रैक्टर, ट्रक और हाइवा से खुलेआम बालू ढोया जा रहा है. प्रशासन और खान विभाग खानापूर्ति के के लिए कभी-कभार कार्रवाई कर रहे हैं.
लेकिन इससे बालू के अवैध खनन पर कोई खास असर नहीं पड़ रहा है. राज्य के लगभग सभी जिलों में अवैध बालू उठाव का खुला खेल जारी है. बीते ढाई साल में अवैध बालू खनन के खिलाफ राज्यभर में अबतक 2452 मामले दर्ज हुए हैं. इस दौरान 2551 लोगों की गिरफ्तारी हुई है. जबकि 4283 वाहन जब्त किये गये हैं, 10 जून से 15 अक्टूबर तक नदियों से बालू के उठाव पर रोक
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने झारखंड में 10 जून से 15 अक्टूबर तक नदियों से बालू के उठाव पर रोक लगायी है. नदियों का इको सिस्टम बनाये रखने के लिए मॉनसून के दौरान हर साल इस अवधि तक बालू के उठाव पर रोक रहती है. यह रोक देश के अन्य राज्यों में भी है. कुछ राज्य इसका पालन भी कर रहे हैं. लेकिन झारखंड में एनजीटी के आदेश को ताक पर रखकर बालू का अवैध खनन किया जा रहा है. आलम यह है कि बालू तस्कर उन जिलों के नदियों से भी बालू निकाल रहे हैं, जहां घाटों का टेंडर तक नहीं हुआ है.
जानें किस जिले में अवैध बालू खनन के कितने मामले हैं दर्ज :
- - गढ़वा: 260
- - देवघर: 206
- - हजारीबाग: 202
- - खूंटी: 178
- - गोड्डा: 147
- - गुमला: 145
- - सरायकेला: 118
- - बोकारो: 112
- - लोहरदगा: 114
- - रामगढ़: 109
- - चतरा: 107
- - धनबाद: 99
- - गिरिडीह: 94
- - कोडरमा: 89
- - जमशेदपुर: 89
- - सिमडेगा: 65
- - पाकुड़: 61
- - चाईबासा: 51
- - पलामू: 40
- - दुमका: 34
- - जामताड़ा: 22
- - साहिबगंज: 20
- - लातेहार: 15
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