Jamshedpur : मनरेगा (महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम) में ग्रामीणों खासकर अनुसूचित जाति एवं जनजाति की भागीदारी घट रही है. ऐसा सरकार का मानना है. इसलिए झारखंड के 150 प्रखंडों में विशेष अभियान चलाने का सरकार ने निर्णय लिया है. उक्त अभियान का नाम `ग्रामीणों की आस, मनरेगा से विकास` दिया गया है. पूर्वी सिंहभूम जिले में उक्त अभियान की आज से शुरुआत की गई. इसके लिए एक बैठक सह कार्यशाला का आयोजन जिला सभागार में किया गया. इसमें पंचायत प्रतिनिधियों को विशेष रुप से आमंत्रित कर उन्हें इस अभियान से जुड़कर `ग्रामीणों की आस, मनरेगा से विकास` अभियान को सफल बनाने की अपील की गई. इसे भी पढ़ें : केयू">https://lagatar.in/ku-in-lbsm-college-the-non-teaching-staff-will-be-reinstated-on-22-vacant-posts-in-class-iii-and-16-in-class-iv/">केयू
: एलबीएसएम कॉलेज में शिक्षकेत्तर कर्मचारी के तृतीय वर्ग में 22 व चतुर्थ वर्ग में 16 रिक्त पदों पर होगी बहाली इस संबंध में जानकारी देते हुए उप विकास आयुक्त परमेश्वर भगत ने बताया कि राज्य सरकार की ओर से मनरेगा में लोगों की घटती रूचि को देखते हुए विशेष अभियान चलाने का निर्देश दिया गया है. जिले के 11 प्रखंडों में आज से 15 दिसंबर तक अभियान चलाकर पंचायतों और गांवों में मनरेगा के तहत योजनाओं का क्रियान्वयन किया जाएगा. इस दौरान नियमित रोजगार दिवस, नियमित ग्राम, इच्छुक परिवारों को रोजगार उपलब्ध कराना, महिला और अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति कोटि के श्रमिकों की भागीदारी बढ़ाना, जॉब कार्ड बनाना, सत्यापन और प्रत्येक गांव, टोला में औसतन 5 से 6 योजनाएं पूरा करना और इसके लिए शत प्रतिशत महिला मेट का नियोजन किया जाना शामिल है. बैठक में डीआरडीए सौरभ सिन्हा, जिला परिषद अध्यक्ष बुलूरानी सिंह, उपाध्यक्ष राजकुमार सिंह, सभी प्रखंडों के प्रखंड प्रमुख, सभी प्रखंडों के बीडीओ सहित पीओ डीआरडीए, एपीओ, बीपीओ मनरेगा और अन्य मौजूद थे. [wpse_comments_template]
पूर्वी सिंहभूम के 11 प्रखंडों में आज से 15 दिसंबर तक चलेगा ग्रामीणों की आस-मनरेगा से विकास अभियान

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