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स्मार्ट रोड के नाम पर, स्मार्ट तरीके से अफसरों ने कंपनी को दे दिए 4.50 करोड

Ranchi : झारखंड में आमलोगों को सुविधा मुहैया कराने की योजना अफसर तभी बनाते है, जब उनको योजना से ज्यादा लाभ मिलता दिखता है. झारखंड अर्बन डेवलपमेंट कार्पोरेशन लिमिटेड (जुडको) के जिम्मेवार भी ज्यादातर ऐसी ही योजना बनाते, जिनपर करोड़ो खर्च के बाद विवाद शुरू हो जाता है. अफसर विवाद का बहाना बनाकर करोडो खर्च के बाद योजना को बंद कर देते है. हरमू नदी, करमटोली तलाब, स्वर्णरेखा नदी और स्मार्ट रोड उदाहरण है. इसे भी पढ़ें -रिवर">https://lagatar.in/entry-of-people-of-criminal-image-promoting-promoters-to-save-river-view-project/15084/">रिवर

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सर्कुलर रोड होते हुए कांटाटोली चौक तक बनना है स्मार्ट रोड

राजभवन से सर्कुलर रोड होते हुए कांटाटोली चौक तक स्मार्ट रोड का निर्माण होना था. स्मार्ट रोड बनाने की जिम्मेवारी जुडको की थी. जुडको ने स्मार्ट रोड बनाने का काम अमर इंफ्रा नामक कंपनी को सौपा था. साथ ही कंपनी अमर इंफ्रा को 2017 में मोबलाइजेशन एमाउंट  के रूप में 4.50 करोड़ रूपए का भुगतान भी कर दिया. कंपनी ने मोबलाइजेशन एमाउंट लेने के एक साल बाद 2019 में स्मार्ट रोड बनाने को लेकर कार्यवाई शुरू हुई. सड़क के बीच में पाइप लाइन मिलने की वजह से स्मार्ट रोड बनाने का काम बंद कर दिया. मोबलाइजेशन राशि भी रख ली.  जुडको के अफसरों ने भी मोबलाइजेशन एमाउंट रिकवरी या खर्च का हिसाब किताब लेने का भी प्रयास नहीं किया. स्मार्ट रोड का काम भी नहीं हुआ, और जुडको के अफसरों ने मोबलाइजेशन के नाम पर करोड़ो खर्च कर दिये गये. इसे भी पढ़ें -चाईबासा">https://lagatar.in/chaibasa-naxalites-firing-indiscriminately-on-bus-an-active-member-of-cpi-maoist-arrested/15062/">चाईबासा

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बिना सर्वे के ही शुरू हो गया था स्मार्ट रोड का काम 

2019 मार्च में कंपनी ने भूमि पूजन करके स्मार्ट रोड का डक्ट बनाने के लिए गड्‌ढ़ा करना शुरू किया था. डंगरा टोली चौक से कांटाटोली के बीच में एक ओर डक्ट के लिए गड्‌ढ़ा किया गया. लेकिन जमीन के अंदर वाटर सप्लाई पाइपलाइन मिलने की वजह से काम रोक दिया गया. करीब दो माह तक गड्‌ढ़ा ऐसे ही खुला रहा. बाद में कांट्रैक्टर ने डक्ट के लिए किए गए गड्‌ढ़े को भर दिया. यह काम बिना सर्वे के ही अफसरों ने राशि खर्च करने के लिए शुरू करा दिया था. ऐसे में  जुडको ने बिना काम कराये कांट्रैक्टर को भुगतान कर दिया. इसे भी पढ़ें -किसान">https://lagatar.in/kisan-agitation-talks-continue-with-farmers-government-know-when-and-when-the-talks-took-place-what-has-happened-so-far/15081/">किसान

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 विभागों के साथ स्थापित नहीं समन्वय

शहर में विकास योजनाओं पर कार्य करने वाले विभागों के बीच समन्वय नहीं होने का नतीजा है कि स्मार्ट रोड नंबर तीन राजभवन से कांटा टोली चौक भी फंस गया है. क्योंकि इस रूट में डंगरा टोली से कांटा टोली के बीच में एक ओर डक्ट बनाने का काम शुरू किया गया है, लेकिन जिस स्थान पर डक्ट बनाने के लिए गड्‌ढ़ा किया गया, वहीं जमीन के अंदर जलापूर्ति पाइपलाइन मिल गया. जुडको और पेयजल स्वच्छता विभाग के इंजीनियरों के बीच समन्वय नहीं होने की वजह से ऐसी स्थिति आयी. इसे भी पढ़ें -बिहार:">https://lagatar.in/after-long-time-school-parents-consent-required/15071/">बिहार:

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