NewDelhi : देश की आर्मी को आज शनिवार को नया चीफ मिल गया. जनरल मनोज पांडे ने आज भारत के 29वें आर्मी चीफ के रूप में पदभार संभाल लिया. जनरल एमएम नरवणे ने बैटन सौंपकर उन्हें आर्मी चीफ की कुर्सी पर काबिज कराया. बता दें कि ऐसा पहली बार है, जब सेना की इंजीनियरिंग कोर का कोई अधिकारी आर्मी चीफ बना है. इससे पहले, इन्फैंट्री, आर्मर्ड और आर्टिलरी अधिकारी ही आर्मी चीफ बनते रहे हैं.
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मनोज पांडे इंजीनियरिंग बैकग्राउंड से आने वाले पहले आर्मी चीफ
खबरों को अनुसार नेशनल डिफेंस एकेडमी के 1982 बैच से पासआउट मनोज पांडे इंजीनियरिंग बैकग्राउंड से आने वाले पहले आर्मी चीफ हैं. पांडे ने जम्मू-कश्मीर के LOC पल्लनवाला में चलाये गये ऑपरेशन पराक्रम को लीड किया है. यह ऑपरेशन जम्मू-कश्मीर में 2001 में संसद हमले के बाद चलाया गया था. इस ऑपरेशन के तहत आतंकियों की हथियार सप्लाई के नेक्सस का खुलासा किया गया था. इस ऑपरेशन में बड़ी संख्या में आतंकी मार गिराये गये थे.
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अंडमान-निकोबार में बतौर कमांडर काम कर चुके हैं
जनरल मनोज पांडे चीन से सटे ईस्टर्न कमांड में कमांडर और ब्रिगेडियर स्टाफ के पद पर काम कर चुके हैं. वे लद्दाख इलाके के माउंटेन डिवीजन में इंजीनियर ब्रिगेड के पद पर तैनात रहे हैं. इस क्रम में नॉर्थ-ईस्ट रीजन में लेफ्टिनेंट जनरल रहते कई ऑपरेशन में भाग ले चुके हैं. इसके अलावा, वे अंडमान-निकोबार में बतौर कमांडर काम कर चुके हैं. जनरल पांडे परम विशिष्ट सेवा मेडल, अति विशिष्ट सेवा मेडल और विशिष्ट सेवा मेडल से सम्मानित हो चुके हैं.
पिता मनोचिकित्सक और माता रेडियो अनाउंसर थीं
जनरल मनोज पांडे के पिता डॉ. सीजी पांडे एक नामचीन मनोचिकित्सक हैं. वो कई साल तक नागपुर विश्वविद्यालय के मनोविज्ञान विभाग में हेड के रूप में कार्यरत रहे. उनकी माता प्रेमा पांडे ऑल इंडिया रेडियो में अनाउंसर थीं. जनरल की माता जी अब इस दुनिया में नहीं हैं.