LagatarDesk : भारत के सबसे उम्रदराज अरबपति और महिंद्रा एंड महिंद्रा के पूर्व चेयरमैन केशब महिंद्रा आज निधन हो गया. केशब महिंद्रा ने 99 साल की उम्र में अंतिम सांस ली. भारतीय राष्ट्रीय अंतरिक्ष संवर्धन और प्राधिकरण केंद्र (INSPACe) के अध्यक्ष पवन गोयनका ने उनके निधन की पुष्टि की है. पवन गोयनका ने ट्वीट कर केशब महिंद्रा के निधन पर शोक वयक्त किया है. उन्होंने ट्वीट में लिखा कि औद्योगिक जगत ने आज सबसे बड़ी शख्सियतों में से एक को खो दिया है. केशब महिंद्रा का कोई मुकाबला नहीं था, सबसे अच्छे व्यक्ति को जानने का मुझे सौभाग्य मिला. मैं हमेशा उनसे मिलने के लिए उत्सुक रहता था और मैं उनसे बहुत प्रेरित था. ओम शांति. (पढ़ें, पांकी विधायक ने हेमंत सरकार पर बोला हमला, कहा आने वाले चुनाव में जनता सिखायेगी सबक)
The industrial world has lost one of the tallest personalities today. Shri Keshub Mahindra had no match; the nicest person I had the privilege of knowing. I always looked forward to mtgs with him and inspired by how he connected business, economics and social matters. Om Shanti.
— Pawan K Goenka (@GoenkaPk) April 12, 2023
केशव महिंद्रा ने करीब 48 वर्षों तक महिंद्रा ग्रुप का किया नेतृत्व
केशब महिंद्रा के निधन की खबर से कारोबार जगत में शोक की लहर है. वे अपने पीछे 1.2 अरब डॉलर की संपत्ति छोड़ गये हैं. बता दें कि केशब महिंद्रा को हाल ही में जारी फोर्ब्स की 2023 की बिलेनियर्स लिस्ट में भारत के 16 नये अरबपतियों की लिस्ट में शामिल किया गया था. केशब महिंद्रा 1947 में महिंद्रा ग्रुप जॉइन किया था. उन्हें 1963 में महिंद्रा ग्रुप का चेयरमैन बनाया गया था. इसके बाद 2012 में उन्होंने चेयरमैन का पद छोड़ दिया था. इस तरह केशव महिंद्रा ने करीब 48 वर्षों तक महिंद्रा ग्रुप का नेतृत्व किया. अपने रिटायरमेंट के बाद केशव महिंद्रा ने अपने भतीजे आनंद महिंद्रा को अपना उत्तराधिकारी बना दिया.
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पेन्सिल्वेनिया यूनिवर्सिटी से ग्रेजुएट थे महिंद्रा
केशव महिंद्रा का जन्म 9 अक्टूबर 1923 को शिमला में हुआ था. केशब महिंद्रा ने अमेरिका की पेन्सिलवेनिया यूनिवर्सिटी से ग्रेजुएट किया था. 1963 में महिंद्रा ग्रुप की कमान संभालने के बाद उन्होंने कंपनी को नई ऊंचाई दी. अपने कार्यकाल के दौरान केशब महिंद्रा का फोकस यूटिलिटी से जुड़े वाहनों के निर्माण में ग्रोथ और इनकी बिक्री बढ़ाने पर रहा. विलीज-जीप को अलग पहचान देने में भी केशब महिंद्रा ने महत्वपूर्ण भूमिका निभायी.
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