Kiriburu : टाटा कमिंस प्राइवेट लिमिटेड द्वारा अपना पुणे महाराष्ट्र स्थानांतरित करने के प्रस्ताव के विरोध में 17 नवंबर को टाटा स्टील की नोवामुंडी और बराईबुरु स्थित टीएसएलपीएल खदान का गेट सुबह छह बजे से शाम छह बजे तक जाम कर प्रदर्शन किया जाएगा. गेट जाम का नेतृत्व चक्रधरपुर के विधायक सह झामुमो जिलाध्यक्ष सुखराम उरांव करेंगे. इस दौरान टाटा समूह द्वारा झारखंड के हितों की लगातार उपेक्षा करने का विरोध किया जाएगा. इस मामले को लेकर मंगलवार को झामुमो के पदाधिकारी आलोक अजय तोपनो, रीम बहादुर, शंकर बोबोंगा, शेख मुख्तार उर्फ पप्पू, शमशाद आलम आदि ने किरीबुरु स्थित साप्ताहिक मंगलाहाट-बाजार में लोगों के बीच पर्ची बांट समर्थन भी मांगा. इसे भी पढ़ें : सरायकेला">https://lagatar.in/seraikela-pmo-worker-held-hostage-sister-shows-fear-of-weapon-theft-in-the-house/">सरायकेला
: पीएमओ कर्मी को बंधक बना और बहन को हथियार का भय दिखा घर में की चोरी इस बंदी को लेकर विधायक सुखराम उरांव ने टाटा संस के अध्यक्ष एन चन्द्रशेखरन के नाम पत्र लिख कर पूछा है कि आखिर किन परिस्थितियों में झारखंड सरकार से परामर्श लिए बिना या सूचित किए बिना टाटा कमिंस ने अपना पंजीकृत कार्यालय महाराष्ट्र के पुणे में स्थानांतरित करने का निर्णय लिया है. झारखंड राज्य ने अपने स्थानीय आदिवासी समुदाय के लिए बेहतर जीवन की उम्मीद करते हुए भूमि, खनिज, जल और मानव संसाधन टाटा कंपनी को उपलब्ध कराई. टाटा जैसी कंपनी अपनी प्रतिबद्धता से मुकर गई और अब इसकी एक इकाई जमशेदपुर, झारखण्ड से अपने कार्यालय पुणे में अपने नए पंजीकृत कार्यालय में स्थानांतरित करने का प्रस्ताव लेकर आई है. औद्योगिक घराना बनाने के क्रम में झारखंड के हजारों आदिवासियों ने अपनी भूमि खो दी और विस्थापित हो गए. [wpse_comments_template]
किरीबुरु : झामुमो कल नोवामुंडी व बराईबुरु के टीएसएलपीएल खदान का गेट 12 घंटे करेगा जाम

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