में एक जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान राज्य के परिवहन सचिव ने अदालत को आश्वस्त किया था कि अब राज्य में कोई भी अधिकारी या अन्य उच्च पदस्थ पदाधिकारी एवं राजनेता अपने वाहन पर बोर्ड लगाकर नहीं चलेंगे. इस विषय पर कोर्ट की तरफ से परिवहन">https://lagatar.in/bermo-a-tractor-with-three-tons-of-illegal-coal-seized/36038/">परिवहन
विभाग को एक लिस्ट तैयार करने को कहा गया था. बता दें कि प्रार्थी गजाला तनवीर ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर कर नेम बोर्ड और पदनाम का डिस्प्ले गाड़ियों पर लगाये जाने के विरोध में हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था. इसपर सुनवाई के दौरान झारखंड के परिवहन विभाग के सचिव अदालत में उपस्थित हुए थे. बुधवार को परिवहन विभाग की तरफ से अधिसूचना जारी कर दी गयी है कि कौन लगा सकते हैं अपनी गाड़ी पर बोर्ड. इसे भी पढ़ें : लालू">https://lagatar.in/10-soldiers-deployed-in-lalus-security-took-away-mattress-pillow-bedsheet-ssp-office-sent-mourning/36032/">लालू
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जानें कौन लगा सकते हैं अपनी गाड़ी पर बोर्ड
• राज्यपाल • मुख्यमंत्री • विधानसभा अध्यक्ष • विधानसभा उपाध्यक्ष • विपक्षी दल के नेता • राज्य सरकार के सभी मंत्रीगण • दर्जा प्राप्त मंत्री • लोकसभा और राज्यसभा के सदस्य • झारखंड विधानसभा के सदस्य • विधानसभा समितियों के सभापति • सत्तारूढ़ दल के मुख्य सचेतक • मान्यता प्राप्त विपक्षी दल के मुख्य सचेतक • विभिन्न नगर निकाय-नगर पालिकाओं के अध्यक्ष • राज्य अतिथियों के उपयोग में लाये जाने वाले वाहन • मुख्य न्यायाधीश, झारखंड हाईकोर्ट • न्यायाधीशगण, झारखंड हाईकोर्ट • लोकायुक्त, महाधिवक्ता • राज्य मानवाधिकार आयोग के अध्यक्ष • महानिबंधक, झारखंड हाईकोर्ट • प्रधान न्यायायुक्त और राज्य के सभी जिला और सत्र न्यायाधीश • मुख्य सचिव, प्रधान सचिव, सचिव, प्रमंडलीय आयुक्त सभी उपायुक्त • डीजीपी, एसएसपी, एसपी, आईजी, डीआईजी • राज्य सरकार के विशेष सचिव, अपर सचिव, संयुक्त सचिव • राज्य के कुलपतिगण, प्रधान महालेखाकार • बोर्ड, निगम के अध्यक्ष • रेलवे के डीआरएम इसे भी पढ़ें : जेल">https://lagatar.in/five-prisoners-serving-life-imprisonment-will-be-released-from-jail-on-time-were-behind-bars-for-more-than-15-years/36045/">जेलसे असमय छूटेंगे उम्रकैद की सजा काट रहे पांच कैदी, 15 साल से अधिक समय से सलाखों के पीछे थे

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