मौलाना मदनी कांग्रेस पर भी हमलावर हुए. कहा कि कांग्रेस का असली मकसद कभी भी गुलामी की जंजीरों को तोड़ना नहीं था, बल्कि मुस्लिम उलेमाओं ने उसे(कांग्रेस) आजादी की राह पर मोड़ दिया.
New Delhi : जमीयत उलेमा-ए-हिंद के प्रमुख मौलाना अरशद मदनी ने रविवार को दिल्ली के इंदिरा गांधी इनडोर स्टेडियम में संविधान बचाओ सम्मेलन काआयोजन किया. अरशद मदनी ने देश की आजादी में मुस्लिम उलेमा के योगदान का जिक्र किया. कहा कि देश की आजादी में मुसलिम उलेमा ने ऐसी शहादत दी है जिसका मुकाबला कोई नहीं कर सकता. सम्मेलन में मौलाना मदनी ने कथित फिरकापरस्त ताकतों की आलोचना करते हुए आरोप लगाया कि ऐसी ताकतें हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई को अलग-अलग करना चाहती हैं, लेकिन हम मानते हैं कि हम सभी भाई हैं. कहा कि देश में भाईचारे को तोड़ने की साजिश रची जा रही है.
आज जितनी फिरकापरस्ती देश में है उतनी पहले कभी नहीं थी
मौलाना मदनी कांग्रेस पर भी हमलावर हुए. कहा कि कांग्रेस का असली मकसद कभी भी गुलामी की जंजीरों को तोड़ना नहीं था, बल्कि मुस्लिम उलेमाओं ने उसे(कांग्रेस) आजादी की राह पर मोड़ दिया. मौलाना मदनी के अनुसार आजादी के समय जमीयत ने मोतीलाल नेहरू, जवाहरलाल नेहरू और महात्मा गांधी से यह गारंटी ली थी कि जब देश आजाद होगा तो वह सेकुलर रहेगा. इस क्रम में मौलाना मदनी ने देश में बढ़ रही फिरकापरस्ती पर गहरी चिंता जाहिर करते हुए कहा,आज जितनी फिरकापरस्ती देश में है उतनी पहले कभी नहीं थी.
वक्फ की जमीनों पर कब्जा करने की कोशिशें की जा रही हैं यह संविधान के खिलाफ है
उनका कहना था कि इस देश को मुसलमानों के लिए एक तरह का जहन्नम बनाया जा रहा है. मुल्क को आग में झोंकने की साजिश हो रही है. मौलाना मदनी मोदी सरकार के वक्फ बिल पर भी बरसे. कहा कि हुकूमत इस बिल के जरिए मुसलमानों के खिलाफ जहर घोल रही है. वक्फ की जमीनों पर कब्जा करने की कोशिशें की जा रही हैं. यह संविधान के खिलाफ है भाजपा शासित राज्यों में बढ़ रहे बुलडोजर एक्शन पर मौलाना मदनी ने कहा, देश में बुलडोजर से गिराये जानेवाले 95 प्रतिशत मकान मुसलमानों के हैं. उन्होंने इसे अन्यायपूर्ण करार दिया.
इंडिया गठबंधन के समर्थन में उतरे मौलाना मदनी
मौलाना मदनी ने इंडिया गठबंधन के घोषणा पत्र की सराहना की.कहा कि इसमें हर धर्म को अपने-अपने मजहब के अनुसार जीने की आजादी देने की बात कही गयी है. मौलाना मदनी ने भाजपा पर हमलावर होते हुए कहा, अगर चंद्रबाबू नायडू और नीतीश कुमार की बैसाखी नहीं होती तो देश में भाजपा की सरकार नहीं बनती. असम के मुख्यमंत्री के किरदार को बदबूदार बताते हुए कहा कि असम में मुसलमानों को चैन से जीने नहीं दिया जा रहा है.मौलाना मदनी ने कहा कि इस्लाम एक ऐसा चिराग है जिसे बुझाने की तमाम कोशिशें की जा रही हैं, लेकिन यह हिंदुस्तान में हमेशा जिंदा रहेगा.