New Delhi : अरब सागर से बड़ी खबर आयी है. भारतीय नौसेना ने अरब सागर में मछली पकड़ने वाले ईरानी पोत अल कंबर (Al-Kambar) और उसके चालक दल के सदस्य 23 पाकिस्तानी नागरिकों को समुद्री लुटेरों के चंगुल से छुड़ा लिया है. खबर है कि जल दस्युओं ने ईरानी पोत अल कंबर को अपने कब्जे में लेकर 23 पाकिस्तानियों को बंधक बना लिया था. भारतीय नौसेना ने समुद्री लुटेरों के खिलाफ 12 घंटे से अधिक समय तक अभियान चलाया. नेशनल खबरों के लिए यहां क्लिक
STORY | Indian Navy rescues hijacked Iranian fishing vessel, 23 Pakistani crew members@indiannavy
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— Press Trust of India (@PTI_News) March 30, 2024
भारतीय नौसेना की विशेषज्ञ टीमें पोत की जांच कर रही हैं
नौसेना के प्रवक्ता द्वारा जारी आधिकारिक बयान के अनुसार भारतीय नौसेना की विशेषज्ञ टीमें मछली पकड़ने वाले पोत की जांच कर रही हैं. बाद में उसे सुरक्षित क्षेत्र में लाया जायेगा. घटना के संबंध में भारतीय नौसेना ने शुक्रवार देर शाम कहा था कि वह अपहरण किये गये पोत को बचाने के अभियान में लगी हुई है, जिस पर नौ सशस्त्र समुद्री डाकू सवार हो गये हैं.
INS सुमेधा की मदद से हाइजैक ईरानी शिप का पता लगाया गया. पोत को समुद्री तट से लगभग 167 किलोमीटर दूर लोकेट किया गया. अल-कंबर को समुद्री लुटेरों के चंगुल से छुड़ाने के लिए गाइडेड मिसाइल फ्रिगेट INS त्रिशूल की भूमिका महत्वपूर्ण रही.आईएनएस सुमेधा ने शुक्रवार सुबह अपहृत एफवी अल कंबर 786 को रोका. आईएनएस त्रिशूल ने भी घेराबंदी कर दी. घटना के समय मछली पकड़ने वाला पोत सोकोट्रा से लगभग 90 समुद्री मील (एनएम) दक्षिण पश्चिम में मौजूद था.
नौसेना ने इस अभियान में 110 लोगों की जान बचा चुकी है
बताया गया है कि इजरायल हमास युद्ध शुरू होने के बाद अदन की खाड़ी, लाल सागर और अरब सागर में व्यापारिक जहाजों पर हमलों में इजाफा हो गया है. हर बार भारतीय नौसेना मदद करने पहुंची है. खबरों के अनुसार भारतीय नौसेना ने ऐंटी पाइरेसी, एंटी ड्रोन और एंटी मिसाइल हमलों को रोकने के लिए अपने युद्दपोतों की तैनाती की है. 10 से ज्यादा युद्दपोत लुटेरों को खिलाफ अभियान चलाने को तैयार हैं, नौसेना ने इस अभियान में 110 लोगों की जान बचा चुकी है. इसमें 45 भारतीय और 65 विदेशी शामिल हैं. 19 पाकिस्तानियों को भी नौसना ने जलदस्युओं से छुड़ाया है. एक आकलन के अनुसार 15 लाख टन से ज्यादा सामान समान समुद्री रास्ते से सुरक्षित गंतव्य तक पहुंचाया है.