- बाबूलाल के दिमाग का इलाज कराओ, हम देंगे 11 लाख : झामुमो
- हेमंत के साथ क्रिमिनल जैसा व्यवहार, जब आज पूछताछ का दिया समय, तो ईडी क्यों पहुंची दिल्ली
- बाबूलाल और निशिकांत के बयानों पर बिफरा झामुमो, कहा- करेंगे मानहानि का केस
- बाबूलाल सीएम रहते कहां-कहां चले जाते थे, यह किसी को क्यों नहीं बताते थे
- दिल्ली आवास में मिला 36 लाख कैश ईडी और भाजपा का प्लांटेड
Ranchi : झामुमो, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी के इनामी स्टंट वाले कदम से बिफर पड़ा है. पार्टी के केंद्रीय महासचिव सह प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने मंगलवार को कहा कि राजनीति में इतना घटिया स्तर और इतना निचला स्तर कभी नहीं देखा गया. मरांडी से इतने निचले स्तर के कदम की उम्मीद नहीं थी. वे खुद एक मुख्यमंत्री रह चुके हैं. मुख्यमंत्री एक संवैधानिक पद है. उस पद पर बैठा व्यक्ति भी इंसान है. हर किसी की निजी जिदंगी और दिनचर्या होती है, बार-बार कहा जा रहा है कि वे निजी काम से गए हुए थे. बाबूलाल मरांडी भी अचानक कई दिनों तक सीएम रहते गायब हो जाते थे, तब तो कोई सवाल नहीं उठा. तो हेमंत सोरेन पर इतना बवाल क्यों. सभी को बता देना चाहते हैं कि हमारे सीएम हिमंता विश्वशर्मा, अजीत पवार और नीतीश कुमार नहीं हैं, जो डराने और धमकाने से पलट जाएंगे. वह दिशोम गुरु शिबू सोरेन के पुत्र हैं. उक्त बातें उन्होंने पार्टी कार्यालय में आयोजित एक प्रेस वार्ता के दौरान कही.
क्या एक सीएम भाजपा कार्यालय जाएगा,बॉयोमैट्रिक्स में उपस्थिति दर्ज कराएगा
सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि भाजपा के लोगों ने एक सीएम के मान-सम्मान के साथ खिलवाड़ किया है. यह काम सीआरपीसी की धारा 499 के दायरे में आता है. इसलिए झामुमो बाबूलाल मरांडी और निशिकांत दुबे के खिलाफ मानहानि का केस दर्ज करायेगा. चूंकि मरांडी की वास्तव में मनो स्थिति खराब हो गयी है. इसलिए पार्टी 11 लाख रुपए खर्च करके उनका इलाज करवाएगी. इनलोगों की भाषा की गरिमा नहीं रही है. भाषा और काम दोनों ही संविधान और नीति-नियम के खिलाफ हो गया है. क्या एक सीएम भाजपा कार्यालय जाकर बॉयोमैट्रिक्स में उपस्थिति दर्ज कराएगा. सुप्रियो ने कहा कि सीएम हेमंत सोरेन के साथ केंद्र सरकार के इशारे पर क्रिमिनल जैसा व्यवहार किया जा रहा है. जब सीएम ने 31 जनवरी को पूछताछ का समय दे दिया था, तो ईडी उनके दिल्ली आवास पर क्यों पहुंची? क्या सीएम ईडी को बता कर कहीं आएं-जाएं.
बाबूलाल की ऐसी खातिरदारी करेंगे कि वे भी याद रखेंगे
सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि बाबूलाल जी बहुत न्याय और भ्रष्टाचार की दुहाई देते फिर रहे हैं. थोड़ा संयम रखें, धीरज रखें. बाबूलाल की उम्र हो चुकी है. इसलिए और भी अधिक ठीक से रहना चाहिए, नहीं तो उनकी ऐसी खातिरदारी करेंगे कि वे भी याद रखेंगे. उन्हें बहुत संयम और धैर्यवान व्यक्ति के रूप में जाना जाता था. मगर हाल के दिनों में जिस प्रकार से वे हरकत कर रहे हैं, उससे यही लग रहा है कि सही में उनकी मानसिक स्थिति खराब हो गयी है. रही बात निशिकांत दुबे के ट्वीट की, तो उन्हें ऐसा री-ट्वीट करेंगे कि वे भी क्या याद रखेंगे.
गांधी के कातिल जिंदा हैं, इससे हम शर्मिंदा हैं
सुप्रियो भट्टाचार्य ने गांधी जी की 76 पुण्यतिथि पर उन्हें नमन करते हुए कहा कि गांधी के देश में गांधी के कातिल आज भी जिंदा हैं, इससे हम शर्मिंदा हैं. बापू का कत्ल करने वाले आज संविधान का कत्ल करने पर उतारू हैं. वे हमें ऐसी शक्ति प्रदान करें कि संविधान के कत्ल करने वाले समाप्त हो जाएं, ताकि इस देश में लोकतंत्र बचा रह सके.
36 लाख रुपए ईडी और भाजपा का प्लांटेड
सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि दिल्ली के सीएम हाउस से जो 36 लाख रुपए की बरामदगी का मामला है, वो पूरी तरह से ईडी और भाजपा की प्लांटेड कहानी है. इसमें कोई सच्चाई नहीं है. राज्य का राजनीतिक महौल बिगाड़ने के लिए ये लोग कुछ भी कर सकते हैं. 40 घंटे में कई काम होते हैं, कोई व्यक्ति शौचालय से लेकर बेडरूम में सोने, बाथरूम में नहाने, खाना खाने का भी काम करता है, क्या इसका हिसाब भी एक सीएम को भाजपा को बताना होगा. वे निजी काम से गए और काम खत्म होने के बाद रांची वापस लौट आये.
राज्यपाल को कैसे लग रहा कि राज्य में विधि-व्यवस्था खराब हो गयी 40 घंटे में
सुप्रियो भट्टाचार्य ने राज्यपाल के बयान और उनके कदमों का विरोध करते हुए कहा कि अच्छा है कि वे मुख्य सचिव और डीजीपी को बुलाते हैं. अब जरा उन्हें राज्य की जनता को यह भी बताना चाहिए कि उन्हें कैसे लगा रहा है कि राज्य की विधि व्यवस्था 40 घंटे में खराब हो गयी. कहां कौन-सी ऐसी घटना हुई, जिससे यह प्रतीत होता है कि विधि-व्यवस्था फेल हो चुकी है.
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