Ranchi : त्रिकूट रोपवे हादसा मामले में साल 2022 में दर्ज प्राथमिक की जांच अब तक अधूरी है. इस दुर्घटना से संबंधित जनहित याचिका निष्पादित हो चुकी है. सरकार ने दामोदर रोपवे को ब्लैक लिस्ट कर दिया है. लेकिन पुलिस ने रोपवे ऑपरेटर विनित सिन्हा के खिलाफ जून 2024 में आरोप पत्र दायर किया है. आरोप पत्र में अन्य दोषियों का पता लगाने के लिए जांच जारी रहने का उल्लेख किया गया. जो अब तक जारी है.
मुकुन पूजहर की शिकायत पर दर्ज की गयी थी प्राथमिकी
त्रिकूट रोपवे हादसे के बाद देवघर जिले के मोहनपुर थाने में मुकुन पूजहर की शिकायत पर प्राथमिकी (53/22) दर्ज की गयी थी. प्राथमिकी में त्रिकूट रोपवे के संचालन में लापरवाही की वजह से हुई दुर्घटना में लोगों के मरने और घायल होने का आरोप लगाया गया था. प्राथमिकी की जांच के बाद पुलिस ने न्यायालय में विनित सिन्हा के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया. विनित सिन्हा को स्थानीय स्तर पर रोपवे को चलाने की जिम्मेवारी थी. पुलिस ने विनित सिन्हा को आइपीसी की धारा 287/304(ए) के तहत दोषी मानते हुए आरोप पत्र समर्पित किया. आरोप पत्र में जांच अधिकारी ने इस बात का उल्लेख किया कि आरोप पत्र वरीय अधिकारियों के मौखिक आदेश पर समर्पित किया जा रहा है. इसके अलावा आरोप पत्र में इस बात का उल्लेख किया गया कि इस मामले में दामोदर रोपवे एंड इंफ्रा लिमिटेड से संबंधित अन्य दोषी लोगों का पता लगाने के लिए जांच जारी है. हाइकोर्ट ने स्वत: संज्ञान लेकर मामले में शुरू की थी जनहित याचिका
त्रिकूट रोपवे दुर्घटना के बाद हाइकोर्ट ने भी स्वत: संज्ञान लेकर मामले में जनहित याचिका शुरू की थी. इस जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान पुलिस की ओर से शपथ पत्र दायर किया गया था. इसमें यह कहा गया था कि सरकार ने मामले की उच्च स्तरीय जांच के लिए समिति का गठन किया है. समिति ने अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंप दी है. जांच अधिकारी इस रिपोर्ट को सरकार से लेकर अध्ययन कर रहे हैं. पुलिस की ओर दायर शपथ पत्र और सरकार की ओर से की गयी कार्रवाईयों की जानकारी देने के बाद न्यायालय ने जनहित याचिका को बंद कर दिया. हालांकि पुलिस ने उच्च स्तरीय समिति की जांच रिपोर्ट पढ़ कर क्या पता लगाया इसकी जानकारी नहीं मिल सकी है.
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