Ranchi : सेंट जेवियर्स स्कूल, डोरंडा में आज प्रोजेक्ट SHINE (Student Holistic Insight and Nurturing Evaluation) के तहत असेसमेंट टेस्ट की शुरुआत हुई. यह टेस्ट काउंसिल फॉर द इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एग्जामिनेशंस (CISCE) का एक पायलट प्रोजेक्ट है, जिसमें देशभर के चुनिंदा स्कूलों को शामिल किया गया है.
परीक्षा प्रणाली में बदलाव लाना प्रोजेक्ट का उद्देश्य
इस प्रोजेक्ट का मकसद पारंपरिक परीक्षा प्रणाली में बदलाव लाना है. इसमें बच्चों को रटने के बजाय डिजिटल और गेम-आधारित परीक्षा के जरिए उनकी सोचने, समस्या सुलझाने और रचनात्मकता की क्षमता को परखा जा रहा है.
कक्षा 6 से हुई शुरुआत
शुरुआत में यह प्रोजेक्ट कक्षा 6 के छात्रों के लिए शुरू किया गया है. आगे चलकर कक्षा 3 और 9 के छात्रों को भी इसमें शामिल किया जाएगा. परीक्षा 10 अक्टूबर तक चलेगी. बच्चे अपने यूजरनेम और पासवर्ड से ऑनलाइन परीक्षा दे रहे हैं. इस दौरान प्रशिक्षित शिक्षक और समन्वयक पूरे माहौल को तनावमुक्त रखने की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं.
राष्ट्रीय स्तर पहल का हिस्सा होना गर्व की बात : प्रधानाचार्य
प्रधानाचार्य फादर फुलदेव सोरेन एसजे ने बताया कि स्कूल के लिए यह गर्व की बात है कि वह इस राष्ट्रीय स्तर की पहल का हिस्सा बना है. उन्होंने कहा कि प्रोजेक्ट SHINE शिक्षा को और भी आनंददायक, उद्देश्यपूर्ण और समग्र बनाता है. इससे छात्रों को अपनी वास्तविक क्षमताओं को पहचानने में मदद मिलेगी.
छात्रों की प्रगति को समझने में मिलेगी मदद
प्रोजेक्ट कोऑर्डिनेटर और कंप्यूटर साइंस विभाग के प्रमुख डॉ. संतोष कुमार ने कहा कि यह प्रोजेक्ट छात्रों की वास्तविक सीखने की प्रगति को समझने का नया तरीका है. उन्होंने बताया कि यह पहल तकनीक और विश्लेषण के माध्यम से छात्रों की व्यक्तिगत प्रगति का सही आकलन करने में मदद करेगी.
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