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रघुवर सरकार की गलती को हेमंत पर थोप रहे राजकुमार गुप्ताः सरयू राय

Akshay Kumar Jha Ranchi : ">https://japit.jharkhand.gov.in/">

 जैप आईटी के ओएसडी और सीएमओ में संयुक्त सचिव राजकुमार गुप्ता के रहते सरकार की तरफ से झारनेट को लेकर इतने गलत उत्तर आयेंगे, यह सोचने वाली बात है. न जाने क्यों झारनेट 2.0 को लेकर जो गलती रघुवर सरकार ने की है, उसे विभाग अपने सिर क्यों लेना चाहता है. मैंने जो सवाल झारनेट">https://jharnet.com/">झारनेट

2.0 को लेकर सरकार से पूछा है, उसके उत्तर बिलकुल संतोषजनक नहीं है. लगातार.इन से बात करते हुए विधायक सरयू राय ने ये बातें कहीं. उन्होंने कहा कि मैं स्पीकर को एक चिट्ठी बनाकर दे रहा हूं कि क्यों जैप आईटी ने मेरे सवालों का गलत जवाब दिया है. सवाल मेरा यह था कि क्या झारनेट 2.0 में कंपनी द्वारा सही उपकरण लगाये गये हैं. जवाब दिया गया है कि जांच के बाद ही उपकरणों को लगाया गया है. तो आखिर किस कमेटी ने जांच की, यह जैप आईटी को बताना होगा. यह भी पढ़ें - 5">https://lagatar.in/there-was-a-promise-to-provide-5-lakh-jobs-the-government-could-not-even-give-jobs-to-2-lakh/37033/">5

लाख नौकरियां देने का था वादा, 2 लाख को भी नौकरी नहीं दे पायी सरकार

सीएमओ में सबसे पावरफुल हैं आरके गुप्ता

इससे पहले भी मेरी शिकायत पर जांच हुई थी. जांच में यह बात सामने आयी थी कि मैं जिन चार बिंदुओं पर अनियमितता की बात कर रहा था. उसमें से जांच में तीन आरोप सही पाये गये. रघुवर सरकार के दौरान आईटी सचिव ने आईआईटी खड़गपुर के इंजीनियरों से इसकी जांच कराने की बात कही थी. लेकिन पूर्व सीएम रघुवर दास ने ऑर्डर दिया कि विभागीय जांच हो. विभागीय जांच में भी पाया गया कि मेरे चार में से तीन आरोप सही हैं. आगे उन्होंने कहा कि जैप आईटी के ओएसडी हैं. वही आरके गुप्ता सीएमओ में भी हैं. उन्हें सबसे पावरफुल भी माना जा रहा है. पिछली बार भी जब सवाल उठा तो इनका नाम भी मामले में आया था. कहा जा रहा था कि इन्हीं का कोई जानने वाला इस काम को कर रहा है. अब सीएमओ में बैठकर इधर-उधर कर रहे हैं. इसकी तो मैं जांच करने के लिए निश्चित तौर पर बोलूंगा. यह भी देखें- 

गलती रघुवर सरकार की थोपी हेमंत पर जा रही

राय कहते हैं, विभाग और सीएमओ में एक ही शख्स के रहते हुए सरकार का इतना गलत उत्तर आयेगा. ऐसा सोचा भी नहीं जा सकता. पिछली सरकार का पाप मौजूदा सीएम पर मढना चाह रहे हैं. पहले की मुख्यमंत्री की गलती को मौजूदा सीएम पर क्यों थोपा जा रहा है. गलती सुधारने के बजाय इसे और बिगाड़ा जा रहा है. झारनेट 2.0 को लगाने वाली कंपनी एलएंडटी ने सही वक्त पर उपकरण भी नहीं लगाये. जब इसपर जुर्माना ठोका जाने लगा तो बात को मैनेज कराने के लिए वित्त विभाग की तरफ से चिट्ठी लिखी गयी. 23 फरवरी 2021 को कहा गया कि 20 अप्रैल तक झारनेट 2.0 पूरी तरह काम कर सकेगा. जबकि झारनेट 2.0 को अक्टूबर 2020 में पूरे तरीके से काम शुरू कर देना चाहिए था. यह भी पढ़ें - तृणमूल">https://lagatar.in/former-union-minister-yashwant-sinha-joined-trinamool/37014/">तृणमूल

कांग्रेस में शामिल हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा  

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