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किडनी प्रत्यारोपण की सुविधा वाला देश का 12वां केंद्र बनेगा RIMS, केंद्र और राज्य सरकार के बीच हुआ एमओयू

Ranchi : राजेंद्र आयुर्विज्ञान संस्थान- रिम्स देश का 12वां केंद्र होगा, जहां अंग प्रत्यारोपण की शुरुआत होगी. ट्रॉमा सेंटर में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस के दौरान रिम्स निदेशक डॉ कामेश्वर प्रसाद ने कहा कि कोरोना के कारण मानव के बहुत सारे अंग प्रभावित हुए हैं. इस वजह से मल्टी ऑर्गन फेलियर हुआ है. आवश्यकताएं बढ़ी हैं, लेकिन अंग दान करने वाले लोगों की संख्या कम हुई है. उन्होंने कहा कि इसकी जरूरत को समझना होगा. निदेशक ने कहा कि मानव अंग बनाया नहीं जा सकता है. अंग दान से ही कमियों को पूरा किया जा सकता है. इसी को ध्यान में रखते हुए रिम्स में किडनी प्रत्यारोपण की सुविधा की जल्द शुरुआत होने जा रही है. इसे भी पढ़ें- प्रेमी">https://lagatar.in/the-wife-along-with-the-lover-killed-the-husband-the-police-arrested/">प्रेमी

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ट्रांसप्लांट के लिए सर्जन की जरूरत, जल्द होगी नियुक्ति

निदेशक डॉ कामेश्वर प्रसाद ने कहा कि अंग प्रत्यारोपण खासकर किडनी प्रत्यारोपण की शुरुआत करने के लिए सर्जन की आवश्यकता है. नियुक्ति के लिए काम किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि डायलिसिस की व्यवस्था को और सुदृढ़ करने की प्रक्रिया को शुरू कर दी गयी है. टेंडर के जरिये इसकी व्यवस्था की जायेगी. इस पर स्वास्थ्य मंत्री की सैद्धांतिक स्वीकृति मिल गयी है. उसके बाद रिनल ट्रांसप्लांट शुरू हो जायेगा. इसे भी पढ़े- विधानसभा">https://lagatar.in/prohibition-procession-rally-dharna-demonstration-till-end-monsoon-session-assembly/">विधानसभा

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केंद्र सरकार और राज्य सरकार के बीच हुआ एमओयू

वहीं प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान डिपार्टमेंट ऑफ एनाटॉमी के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ राजीव रंजन ने कहा कि किडनी प्रत्यारोपण की शुरुआत को लेकर केंद्र और राज्य सरकार के बीच एमओयू हुआ है. कोरोना के कारण इसमें विलंब हुआ, लेकिन इसे जल्द शुरू कर दिया जायेगा. स्टाफ की नियुक्ति भी की गयी है.

रिम्स की वेबसाइट पर अंगदान का फॉर्म उपलब्ध

डॉ राजीव रंजन ने कहा कि रिम्स की वेबसाइट पर अंगदान को लेकर प्रतिज्ञा फॉर्म उपलब्ध है. दान करने वाले लोग अपने परिजनों से बात कर अंगदान के इस फॉर्म को भर सकते हैं.

अंग दान महादान के स्लोगन के साथ लोगों को किया जायेगा जागरूक

अंगदान महादान के नारे के साथ समाज में फैली भ्रांतियों को दूर किया जाएगा. वहीं लोगों को जागरूक करने के लिए सोशल मीडिया के माध्यम से प्रचार किया जाएगा. शहर के विभिन्न हिस्से में होर्डिंग भी लगाया जायेगा. आने वाले समय में झारखंड के अन्य मेडिकल कॉलेज में भी जागरुकता कार्यक्रम चलाया जाएगा.

रिम्स में नेत्र प्रत्यारोपण और प्लास्टिक सर्जरी की है व्यवस्था

रिम्स में नेत्र प्रत्यारोपण और प्लास्टिक सर्जरी की व्यवस्था है. निदेशक ने कहा कि 25 अगस्त से 8 सितंबर के बीच नेत्रदान पखवाड़े चल रहा है. नेत्र विभाग ने जागरुकता मार्च भी निकाला है. उन्होंने कहा कि देश में तीन करोड़ से ज्यादा लोग नेत्रहीन हैं, जिसमें 60% लोग कैटरेक्ट के कारण नेत्रहीन हो गये हैं. कॉर्निया में सफेदी होने के कारण भी लोग नेत्रहीन हो रहे हैं. रिम्स में 1982 में आई बैंक की स्थापना हुई और यह आई बैंक निरंतर नेत्र प्रत्यारोपण का काम कर रहा है. [wpse_comments_template]

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