- रिम्स 2020 बैच के छात्र अपने ही सीनियर 2019 के छात्रों से कर रहे थे रैगिंग
- पीजी छात्रों ने 19 बैच को पीटा, जमकर हुआ हंगामा पर नहीं दर्ज हुआ मामला
- स्टूडेंट डीन और जूनियर डॉक्टर्स एसोसिएशन ने की मध्यस्थता
Ranchi: राजेंद्र आयुर्विज्ञान संस्थान रिम्स के हॉस्टल में रहने वाले जूनियर और सीनियर छात्रों के बीच कहासुनी और रैगिंग के मामले को मध्यस्थता के बाद शांत कराया गया है. मिली जानकारी के मुताबिक 2020 बैच के छात्र अपने ही सीनियर्स 2019 के छात्रों की रैगिंग करवा रहे थे. यह पीजी के छात्रों को नागवार गुजरा और मारपीट हुई. घटना के बाद परिसर को छावनी में तब्दील कर दिया गया था. हालांकि समझौते के बाद मामला शांतिपूर्ण है और सुरक्षा बलों को वापस बुला लिया गया है. वहीं स्थानीय बरियातू थाना के प्रभारी सपन महथा ने कहा कि समझौते के बाद मामला शांत हो गया है. दोनों ही पक्षों की ओर से लिखित शिकायत नहीं मिली है.
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सीनियर-जूनियर के बीच हुई कहासुनी- डॉ हीरेन बिरुआ
वहीं डीन वेलफेयर डॉ हीरेन बिरुआ ने कहा कि रैगिंग की घटना नहीं है. सीनियर और जूनियर बैच के बीच कहासुनी हुई है. फिलहाल मामला शांतिपूर्ण है. 2019 बैच और पीजी के छात्रों के बीच मारपीट की घटना हुई थी. हम सभी लोगों ने निरीक्षण कर दोनों पक्षों को समझा कर शांत किया है.
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जानकारी लेने आये चिकित्सक ने बताया सामान्य घटना
वहीं माइक्रोबायोलॉजी विभाग के डॉ अशोक ने कहा कि हॉस्पिटल कैंपस इतना बड़ा है, यहां अकसर कुछ ना कुछ घटनाएं होती हैं. यह सामान्य बात है. समस्या का हल किया गया है. मामला प्रशासन के अधीन है. उन्हें पूछताछ कर कार्रवाई करनी है तो वो कर सकते हैं.
छात्रों की भीड़ को समझाने उतरे अधिकारी और जेडीए के अध्यक्ष
वही हंगामे की सूचना के बाद जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन के अध्यक्ष आक्रोशित छात्रों को समझाने हॉस्टल पहुंचे. जेडीए अध्यक्ष डॉ विकास कुमार ने कहा कि 2019 बैच के छात्र और सीनियर छात्रों के बीच किसी बात को लेकर कहासुनी हुई है. इसकी पड़ताल के लिए सभी लोग पहुंचे हैं. उन्होंने कहा कि नए छात्रों में थोड़ी जोश होती है, जिस कारण ऐसी घटनाएं होती हैं, लेकिन उन्हें अनुशासन के दायरे में रहने का हिदायत दिया गया है.
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