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सरहुल पर्व : 30 मार्च को उपवास, 31 को पूजा, एक अप्रैल को निकाली जायेगी भव्य शोभायात्रा

  • 2 अप्रैल को सभी घरों में होगी फूलखोंसी
Ranchi :  प्रकृति पर्व सरहुल की तैयारियों को लेकर आज बुधवार को केंद्रीय सरना संघर्ष समिति की बैठक कांके रोड स्थित प्रधान कार्यालय में हुई. बैठक की अध्यक्षता समिति के प्रदेश अध्यक्ष शिवा कच्छप ने की, जबकि संचालन सती तिर्की ने किया. बैठक में सरहुल पूजा की तैयारियों को लेकर चर्चा की गयी. इस दौरान प्रदेश अध्यक्ष शिवा कच्छप ने कहा कि हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी सरहुल पारंपरिक और सांस्कृतिक रीति-रिवाजों के साथ धूमधाम से मनायी जायेगी.

सरहुल पर्व में ये होगा कार्यक्रम

  • 30 मार्च को सरना धर्मावलंबी उपवास रखेंगे. उसी दिन नदी तालाब से मछली केकड़ा पकड़ने की परंपरा है. रात को घड़ा में जल रखाई कार्यक्रम भी होगा.
  • 31 मार्च को सुबह में घड़े में रखे जल को देखकर इस वर्ष बारिश की भविष्यवाणी की जायेगी. इसी दिन सभी अखड़ा और सरना स्थल में सरहुल की पूजा-अर्चना पारंपरिक रीति-रिवाज के साथ होगी.
  • एक अप्रैल को भव्य सरहुल शोभा यात्रा निकाली जायेगी.
  • दो अप्रैल को सभी घरों में फूलखोसी की जायेगी.

सरहुल शोभायात्रा को भव्य बनाने की अपील

शिवा कच्छप ने सभी सरना धर्मावलंबियों से पारंपरिक ढोल, नगाड़ा और मांदर के साथ शोभायात्रा में शामिल होने की अपील की है. वहीं महिलाओं को लाल पाड़ साड़ी और पुरुषों को धोती-गंजी पहनने का आग्रह किया है, ताकि सरहुल की सांस्कृतिक छटा बनी रहे.

हर घर में लगेगा सरना झंडा

सरहुल पूजा के दिन राजधानी रांची के सभी आदिवासी समाज के घरों में सरना झंडा लगाया जायेगा. इस बैठक में सती तिर्की, संगीता गाड़ी, अनिता उरांव, भानु उरांव, कुईली उरांव, बसंती कुजूर, पार्वती टोप्पो, सीटीओ उरांव, शोभा तिर्की समेत सरना समाज के अन्य सदस्य उपस्थित थे.

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