Bokaro: जिले में शर्मसार करने वाली घटना सामने आयी है. जरिडीह क्षेत्र में गैंगरेप का मामला उजागर हुआ है. नाबालिग के साथ तीन महीने तक दुष्कर्म की घटना हुई है. रविवार को आरोपियों के चंगुल से छूटने के बाद नाबालिग बोकारो महिला थाना पहुंची. तब मामला सामने आया. इस संदर्भ में बता दें कि परिजनों ने नाबालिग की गुमशुदगी की सनहा थाने में दर्ज करायी थी. पुलिस उसकी तलाश में जुटी थी.
पीड़िता को बेरहमी से पीटा जाता था
पीड़िता ने आपबीती बताते हुए कि गैंगरेप के दौरान उसे बेरहमी से पीटा जाता था. पीड़िता के बयान पर महिला पुलिस ने पोक्सो एक्ट के तहत गैंगरेप की प्राथमिकी दर्ज कर जांच शुरू किया. इस मामले में मनोज कुमार, बिष्णु कुमार और संतोष कुमार को आरोपी बनाया गया है. इसके अलावा एक दूसरी लड़की और उसका ब्याय फ्रेंड भी शक के घेरे में है.
20 अप्रैल को पीड़िती निकली थी घर से
पीड़िता ने बताया कि 20 अप्रैल को कपड़ा खरीदने के लिए घर से चास के लिए निकली थी. बोकारो रामगढ़ हाइवे पर एक पूर्व परिचित लड़की से मिली. उसने अपने ब्याय फ्रेंड को बुलाया. उसके साथ तीनों नामजद आरोपी भी पंहुचे. फिर जबरन पीड़िता को तीनों आरोपियों ने एक ऑटो में बैठा लिया. उसे लेकर हाइवे किनारे एक कमरे में ले जाकर बंद कर दिया. वहां उसके साथ तीनों आरोपियो ने एक माह तक गैंगरेप किया. फिर उसे निकालकर हाइवे के पास एक निर्माणाधीन अपार्टमेंट में बंद कर दिया. इस दौरान बदमाश उसे चाबुक से पीटते भी थे और हवस का शिकार बनाते थे.
इसे भी पढ़ें- विकास हुआ है तो फिर लोग भूख से क्यों मर रहे हैं? सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी पर सुब्रमण्यम स्वामी ने मोदी सरकार को घेरा
आसपास के लोगों ने की मदद
नाबालिग ने बताया कि जहां उसे रखा गया था, वहां आसपास कई मकान बने हैं. वहां रहने वाली महिलाएं तीनों आरोपियों की हरकत को लगातार देख रही थी. 20 जुलाई को जब तीनों आरोपी ताला लगाकर चले गए तब एक महिला ने साहस जुटाकर ताला तोड़ दिया. उसके बाद आसपास के लोगों की मदद से उसे बाहर निकाला गया. स्थानीय लोगों ने उसे उसके घर भेज दिया. अस्पताल में इलाज के बाद पीड़िता परिजनों के साथ रविवार को महिला थाने पहुंची और मामला दर्ज करायी.
इसे भी पढ़ें- ममता बनर्जी ने कहा, महाराष्ट्र में चुनी गयी सरकार पैसे के बल गिरायी गयी, विधायकों को असम में बहुत कुछ दिया गया…