जस्टिस अशोक भूषण की अध्यक्षता वाली पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ इस मामले में सुनवाई कर रही है. इस पीठ में जस्टिस एल नागेश्वर राव, जस्टिस एस अब्दुल नजीर, जस्टिस हेमंत गुप्ता और जस्टिस एस रवींद्र भट भी शामिल हैं. जान लें कि शिक्षा और नौकरियों में मराठा समुदाय को आरक्षण देने से संबंधित महाराष्ट्र सरकार के 2018 के कानून को लेकर दाखिल याचिकाओं पर सोमवार से सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई शुरू की है. इसे भी पढ़ें : राज्यसभा">https://lagatar.in/opposition-uproar-over-petrol-and-diesel-prices-in-rajya-sabha-slogans-raised-government-should-be-conscious-come/34988/">राज्यसभाMaratha reservation: Supreme Court issues notice to all the State governments and seeks their response on whether reservation could be allowed beyond 50 per cent The court to recommence the day-to-day hearing in the matter on March 15.
— ANI (@ANI) March">https://twitter.com/ANI/status/1368806719128662019?ref_src=twsrc%5Etfw">March
8, 2021
में हंगामे का सोमवार, पेट्रोल-डीजल की कीमतों में लगी आग को लेकर सरकार होश में आओ के नारे लगे
मराठा आरक्षण पर सुनवाई 15 मार्च तक के लिए टाल दी
इस क्रम में सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि आरक्षण के मामले पर सभी राज्यों की राय जानना आवश्यक है. ऐसे में SC ने सभी राज्य सरकारों को नोटिस जारी कर पूछा है कि क्या आरक्षण की सीमा 50 फीसदी से अधिक बढ़ाई जा सकती है? साथ ही मराठा आरक्षण पर सुनवाई 15 मार्च तक के लिए टाल दी. बता दें कि पिछले साल नौ दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि महाराष्ट्र के 2018 के कानून से जुड़े मुद्दों पर त्वरित सुनवाई की जरूरत है क्योंकि कानून स्थगित है. इसे भी पढ़ें : एंटीलिया">https://lagatar.in/antilia-case-ats-changed-the-theory-of-the-police-filed-a-case-of-murder-in-the-case-of-mansukhs-corpse/34959/">एंटीलियाकेस : एटीएस ने पुलिस की थ्योरी बदली, मनसुख की लाश मिलने के मामले में हत्या का केस किया दर्ज

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