Ranchi: पूर्व मंत्री और कांग्रेस नेता योगेंद्र साव को जमानत देने से सुप्रीम कोर्ट ने इंकार कर दिया है. सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई के बाद जमानत याचिका को खारिज कर दिया है. इसके साथ ही देश की शीर्ष अदालत ने 3 महीने के अंदर इस मामले का ट्रायल खत्म करने का निर्देश भी दिया है. जमानत याचिका खारिज होने से योगेंद्र साहू को बड़ा झटका लगा है.
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जमानत देने से सुप्रीम कोर्ट ने किया इनकार
कांग्रेस के विधायक रहे और झारखंड के मंत्री रह चुके योगेंद्र साव ने अपनी जमानत के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था, लेकिन वहां से भी उन्हें जमानत नहीं मिली और अदालत ने उनकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया.इससे पहले झारखंड हाईकोर्ट ने भी बड़कागांव से जुड़े मामले में योगेंद्र साहब की जमानत याचिका को ठुकरा दिया है. जिसके बाद योगेंद्र साव ने अपनी जमानत के लिए सुप्रीम कोर्ट में गुहार लगाई थी.
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पुलिस बल पर किया जानलेवा हमला
2016 को चिरूडीह खनन के रास्ते पर योगेंद्र साव सहित कई लोग कफन सत्याग्रह आंदोलन चलाया जा रहा था. एनटीपीसी के खनन क्षेत्र के दोनों मार्ग अवरूद्ध हो गए थे. विधि-व्यवस्था को ठीक करने के लिए निर्मला देवी को बड़कागांव के मामले में गिरफ्तार किया गया. लेकिन उनके समर्थकों ने पुलिस बल पर जानलेवा हमला करते हुए उन्हें छुड़ा ले गए. जिसमें कई अधिकारी गंभीर रूप से जख्मी हो गए थे.
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