Ranchi: झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड द्वारा बिजली टैरिफ में बढोत्तरी के साथ ही फिर से लोड आधारित फिक्स्ड चार्ज में वृद्धि के प्रस्ताव पर नाराजगी जताते हुए झारखंड चैंबर ऑफ कॉमर्स ने इसे अव्यवहारिक बताया. चैंबर अध्यक्ष किशोर मंत्री ने कहा कि झारखंड विद्युत नियामक आयोग ने फरवरी 2024 में ही वित्तीय वर्ष (2023-24) के लिए बिजली टैरिफ की घोषणा की थी, जो एक मार्च 2024 से प्रभावी हुई है, अब पुनः वर्तमान वित्तीय वर्ष के लिए टैरिफ में बढ़ोत्तरी के निर्णय से व्यापार व उद्योग जगत के अलावा आमजन चिंतित हैं. वर्तमान परिप्रेक्ष्य में बिजली टैरिफ में बढ़ोत्तरी अनुचित है और इससे राज्यवासी प्रभावित होंगे.
झारखंड राज्य नियामक आयोग के चेयरमेन और उर्जा सचिव को पत्राचार करते हुए कहा गया कि यह वास्तविकता है कि प्रत्येक वर्ष बिजली टैरिफ में बढ़ोत्तरी के बावजूद जेबीवीएनएल द्वारा उपभोक्ताओं को क्वालिटी और निर्बाध विद्युत आपूर्ति नहीं की जाती है. राज्य के सभी जिलों में पावरकट का वर्षों पुराना सिलसिला अभी भी जारी है, क्यों नहीं, बिजली टैरिफ में वृद्धि की भांति जेबीवीएनएल द्वारा क्वालिटी बिजली मुहैया कराने का प्रयास किया जाता है. यह आग्रह किया गया कि जब तक जेबीवीएनएल अपने उपभोक्ताओं को क्वालिटी और क्वांटिटी बिजली आपूर्ति करने में सक्षम नहीं होता, तब तक इस टैरिफ वृद्धि के प्रस्ताव को शिथिल रखा जाये.
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