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ट्रेड यूनियनों की देशव्यापी हड़ताल का चित्रा कोलियरी देवघर में दिखा खासा असर

Deoghar :  केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तावित श्रम संहिताओं (लेबर कोड) और अन्य नीतियों के खिलाफ देशभर में ट्रेड यूनियनों द्वारा बुलाई गई हड़ताल का प्रभाव देवघर के चित्रा कोलियरी में विशेष रूप से देखने को मिला. देवघर सहित संथाल परगना क्षेत्र के अन्य हिस्सों में भी इसका व्यापक असर देखा गया.गौरतलब है कि भारत बंद में भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) को छोड़कर सभी प्रमुख ट्रेड यूनियनें शामिल हैं. केंद्रीय ट्रेड यूनियनों ने एकजुट होकर सरकार की नीतियों के विरोध में आज भारत बंद का आह्वान किया. 

 

 

यूनियनों का आरोप है कि सरकार आम नागरिकों की नौकरी, वेतन और बुनियादी सुविधाओं की अनदेखी कर रही है और निजी कंपनियों के हित में नीतियां बना रही है.उनका यह भी कहना है कि सरकारी नीतियां न केवल कर्मचारियों बल्कि किसानों के खिलाफ भी हैं. यूनियनें इन मांगों को लेकर पहले भी कई बार हड़ताल कर चुकी हैं.

 

 

 

 

पशुपति कोल ने इस हड़ताल की प्रमुख मांगों को इस प्रकार बताया


•    शहरी बेरोजगारों के लिए भी मनरेगा जैसी योजना लागू की जाए

•    मनरेगा की मजदूरी और कार्यदिवसों की संख्या बढ़ाई जाए

•    निजीकरण, ठेका प्रणाली (कॉन्ट्रैक्ट बेस्ड जॉब) और आउटसोर्सिंग पर रोक लगे

•    श्रमिक विरोधी चार लेबर कोड को समाप्त किया जाए

•    शिक्षा, स्वास्थ्य और राशन जैसी बुनियादी आवश्यकताओं पर सरकारी खर्च बढ़ाया जाए

•    पिछले 10 वर्षों से लंबित वार्षिक श्रम सम्मेलन जल्द आयोजित किया जाए

•    बेरोजगारी दूर करने के लिए नई सरकारी भर्तियों की शुरुआत की जाए

•    युवाओं को रोजगार दिया जाए, रिटायर्ड कर्मियों की दोबारा नियुक्ति बंद की जाए

 

इस हड़ताल में पशुपति कोल, युधिष्ठिर सिंह यादव, बलदेव प्रसाद महतो, योगेश राय, राजेश राय, रामदेव सिंह, होपना मरांडी, गणेश कोल, छोटेलाल टुडू, कृष्णा मरांडी, उमेश मंडल, रामू सिंह, अरुण पांडेय, दिलीप दे, कामदेव टुडू सहित कई लोग सक्रिय रूप से उपस्थित रहे.

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