Ranchi : केंद्रीय विश्वविद्यालय झारखंड (CUJ) में भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती वर्ष को ‘स्वाभिमानी बिरसा-2025’ शीर्षक के तहत भव्य रूप से मनाया जा रहा है. इस अवसर पर विश्वविद्यालय परिसर में और बाहरी स्थलों पर आयोजित किए जा रहे कार्यक्रमों में छात्रों, शिक्षकों और स्थानीय समुदाय की व्यापक भागीदारी देखी जा रही है.
मुख्य समारोह 14 और 15 नवम्बर 2025 को आयोजित होने वाला है, लेकिन इससे पहले आयोजित ‘जन-जातीय गौरव यात्रा’ और अन्य प्रेरक प्री-इवेंट्स ने पूरे विश्वविद्यालय वातावरण को उत्सवमय बना दिया है.
13 नवम्बर को विश्वविद्यालय द्वारा भगवान बिरसा मुंडा की जन्मस्थली उलिहातू से ‘जन-जातीय गौरव यात्रा’ का सफल आयोजन किया गया. इस यात्रा का उद्देश्य छात्रों को जनजातीय नायकों के इतिहास, संस्कृति और स्वतंत्रता संग्राम में उनके योगदान से परिचित कराना था.
यात्रा के दौरान भगवान बिरसा मुंडा के वंशज सुखराम मुंडा तथा उलिहातू के प्रधान निर्मल मुंडा ने छात्रों का स्वागत किया और उनके विचारों से युवाओं को प्रेरित किया. यात्रा का समापन ऐतिहासिक डोंबारी बुरु शहीद स्थल पर हुआ, जहाँ छात्रों ने राष्ट्रभक्ति की भावना से ओत-प्रोत होकर श्रद्धांजलि अर्पित की.इस दल का नेतृत्व डॉ केबी सिंह ने किया, जिनके साथ डॉ आलोक गुप्ता, डॉ शशांक कुलकर्णी, डॉ सौमेन डे और डॉ अरविंद लाल भी उपस्थित रहे.
स्कूल-स्तरीय प्रतियोगिताएँ और रचनात्मक प्रस्तुतियां
इस अवसर पर स्कूल-स्तरीय प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया, जिसमें विद्यार्थियों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया.
क्विज प्रतियोगिता में विजेता रहे –
सुशील उराँव (कक्षा X, गौरीदत्त मंडलिया हाई स्कूल, रातू रोड)
अशुतोष कुमार (कक्षा X, छोटानागपुर राज हाई स्कूल, रातू चट्टी)
आलोक भगत (कक्षा IX, अवासिया बंधु हाई स्कूल).
आज आयोजित पोस्टर मेकिंग एवं कोलाज मेकिंग प्रतियोगिता में छात्रों ने ‘जन-जातीय गौरव’ विषय पर अपनी रचनात्मकता के माध्यम से जनजातीय संस्कृति और नायकों को नमन किया. इन कार्यक्रमों का समन्वयन डॉ रामकृष्ण रेड्डी ने किया.
विश्वविद्यालय अब 14–15 नवम्बर को होने वाले मुख्य आयोजन के लिए तैयार है. कार्यक्रम में प्रो क्षिति भूषण दास (कुलपति, सीयूजे), के कोसला राव (रजिस्ट्रार) सहित कई प्रख्यात विद्वान, गणमान्य अतिथि और समाजसेवी शामिल होंगे.
दो दिवसीय उत्सव में शामिल मुख्य आकर्षण हैं –
* भगवान बिरसा मुंडा की प्रतिमा पर माल्यार्पण
* जनजातीय नायक एवं नायिकाओं पर संगोष्ठी
* फोटोग्राफी प्रदर्शनी एवं पुस्तक मेला
* जनजातीय परिधान आधारित फैशन शो
* पैनल चर्चा एवं “अनेकता में एकता” विषयक सांस्कृतिक संध्या
केंद्रीय विश्वविद्यालय झारखंड ने समाज के सभी वर्गों से इस उत्सव में शामिल होकर भगवान बिरसा मुंडा के आदर्शों — स्वाभिमान, संघर्ष और समाज सेवा — से प्रेरणा लेने का आह्वान किया है.
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