में गिरी भारतीय मिसाइल को लेकर अमेरिका ने कहा, भारत ने यह जानबूझ कर नहीं किया
रूसी सेना को सख्त संदेश देने की तैयारी
जानकारों का कहना है कि इस सैन्यै अभ्यास के जरिए नाटो यूक्रेन में कहर बरपा रही रूसी सेना को उत्तरी यूरोप के मोर्चे पर सख्त संदेश देने की तैयारी कर रही है. जानकारी के अनुसार 30 हजार सैनिक 28 यूरोपीय देशों और अमेरिका के हैं. अभ्यास सोमवार को शुरू हो गया है. यह एक माह तक चलेगा. इस अभ्यायस को कोल्ड रिस्पांस नाम दिया गया है. जानकारी के अनुसार अभ्यास रूस की सीमा से मात्र कुछ सौ किलोमीटर की दूरी पर हो रहा है. अभ्यास में शामिल सैनिक नार्वे के समुद्र तटीय इलाके में जंगी जहाज से उतर छापा मारने का अभ्यास करेंगे. इसे भी पढ़ें : ‘बोलकर">https://lagatar.in/mps-disappear-from-the-house-by-speaking-infuriated-lok-sabha-speaker-stopped-the-finance-minister-from-answering/">‘बोलकरसदन से गायब हो जाते हैं सांसद’; भड़के लोकसभा स्पीकर, वित्त मंत्री को जवाब देने से रोका
एयरक्राफ्ट कैरियर एचएमएस प्रिंस ऑफ वेल्स भी हिस्सा ले रहा है
जानकारी सामने आयी है कि अभ्याास के दौरान एयरक्राफ्ट कैरियर एचएमएस प्रिंस ऑफ वेल्स भी हिस्सा ले रहा है. साथ ही फ्रिगेट एचएमएस रिचमंड समेत कई घातक जंगी जहाज हिस्सा ले रहे हैं. इस अभ्यास का उद्देश्य यह दिखाना है कि कैसे एक एकीकृत बहुपक्षीय सेना नार्वे और यूरोप के उत्तरी तट की आधुनिक दुश्मन से रक्षा करेगी. ब्रिटेन के कमांडो फोर्स के प्रभारी ब्रिगेडियर रिच कांट्रिल ने कहा कि नाटो को एक गठबंधन के रूप में सभी तरह के पर्यावरण में हर चीज के लिए तैयार रहना चाहिए. यह हमारे लिए जरूरी है कि हम नार्वे की मदद करें और यही वजह है कि हम आर्कटिक में अक्सर अभ्यास करते रहते हैं. समुद्री कार्रवाई के साथ- साथ इस अभ्यास के दौरान हवाई अभियान भी किया जायेगा. इसे भी पढ़ें : कपिल">https://lagatar.in/big-statement-of-kapil-sibal-gandhi-family-should-leave-congress-leadership-give-chance-to-someone-else/">कपिलसिब्बल का बड़ा बयान, गांधी परिवार छोड़े कांग्रेस की लीडरशिप, किसी और को दे मौका

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