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चांडिल : अखिल झारखंड विस्थापित अधिकार मंच का जल सत्याग्रह सोमवार को

Chandil (Dilip Kumar) : अखिल झारखंड विस्थापित अधिकार मंच के बैनर तले विस्थापितों के चरणबद्ध तरीके से किए जा रहे आंदोलन के क्रम में सोमवार को जल सत्याग्रह किया जाना है. आंदोलन की जानकारी देते हुए मंच के अध्यक्ष राकेश रंजन महतो ने बताया कि जल सत्याग्रह में चांडिल डैम के 84 मौजा के 116 गांव के विस्थापित शामिल होंगे. बरसात के समय चांडिल डैम का जलस्तर बढ़ने के बाद हर वर्ष विस्थापितों का घर व खेत जलमग्न होता रहा है. पुनर्वास की समुचित व्यवस्था नहीं होने के कारण विस्थापितों को मजबूरन स्कूल, आंगनबाड़ी, सामुदायिक भवन, मंदिर या किसी अन्य खाली पड़े भवनों में जाना पड़ता है. विस्थापितों के समस्याओं के समाधान की मांग पर मंच के बैनर तले 16 जून से अनिश्चितकालीन धरना दिया जा रहा है. उन्होंने कहा कि मंच के चरणबद्ध आंदोलन का परिणाम है कि इस वर्ष पानी बढ़ने से पहले ही गेट खोल दिया गया है. इसे भी पढ़ें : जमशेदपुर">https://lagatar.in/jamshedpur-wife-eloped-with-lover-after-one-month-of-marriage-fir-in-police-station/">जमशेदपुर

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अब नहीं चलेगी आश्वासन

राकेश रंजन महतो ने कहा कि आंदोलन से पहले नेता विस्थापितों के बीच गांव घर में जाकर भाषण देकर हितैषी होने का ढोंग करते थे, लेकिन अब उन्हें सदन में बातों को रखना पड़ रहा है. चांडिल डैम के इतिहास में जब-जब जलस्तर बढ़ा रेडियल गेट खोलवाना और उसका श्रेय लेने के लिए राजनीति होता था. उसके बाद भी विस्थापितों का घर डूब जाता था. इससे पूर्व के धरना-प्रदर्शन का अंत नेता या पदाधिकारी लोग आकर झूठा आश्वासन वाली वार्ता किया करते थे. इस बार के धरना प्रदर्शन में कोई आने का हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं. वे जान गए हैं कि अब खोखला आश्वासन नहीं चलेगी. उन्होंने कहा कि ईचागढ़ विधानसभा क्षेत्र के लिए विस्थापित एक राजनीतिक मुद्दा बन गया है. [wpse_comments_template]

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