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गायघाट शेल्टर होम : राबड़ी देवी का आरोप - सरकार ही करवाती है लड़कियों की सप्लाई

Patna : बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी ने राजधानी के गायघाट शेल्टर होम केस को लेकर बिहार सरकार पर  हमला बोला है. उन्होंने कहा कि पूरे मामले के लिए सीधे-सीधे नीतीश सरकार ही जिम्मेदार है. उन्होंने सरकार पर गंभीर आरोप भी लगाये और कहा कि नीतीश सरकार लड़कियों की दुर्गति कर रही है. दरअसल, गायघाट स्थित रिमांड होम में यौनशोषण के आरोप के मामले ने तूल पकड़ लिया है.

सरकार ही इसके लिए पूरी तरह से जिम्मेदार

इस मामले में पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी ने कहा कि बिहार के बालिका गृह में पहले भी इस तरह की घटनाएं हो चुकी हैं. उन्होंने मुजफ्फरपुर बालिका गृह कांड का जिक्र करते हुए कहा कि उस वक्त भी सरकार की संलिप्तता पूरी तरह उजागर हो गयी थी और एक बार फिर जिस तरह से पटना के गायघाट का मामला सामने आया है, उससे साफ है कि सरकार ही इसके लिए पूरी तरह से जिम्मेदार है. `मुजफ्फरपुर शेल्टर होम में भी इस तरह की घटना हुई थी, अब गायघाट बालिका गृह कांड हुई, उसमें भी मंत्री को क्लीन चिट मिल गई, इसमें भी मिल जायेगी. उन्होंने कहा कि वर्तमान जदयू और बीजेपी की सरकार के लिए कोर्ट कचहरी का महत्व ही नहीं रह गया है. क्योंकि ये लोग कोर्ट की बात भी नहीं मानते हैं.

बालिका गृह की लड़कियों ने जुल्म का खुलासा किया

बता दें कि बिहार के मुजफ्फरपुर बालिका गृह कांड के बाद गायघाट बालिका गृह का ये दूसरा बड़ा मामला है, जहां शेल्टर होम की लड़कियों के साथ आमानवीय व्यवहार का मामला उजागर हुआ है, खुद बालिका गृह की लड़कियों ने उनके ऊपर हो रहे जुल्म का खुलासा किया है. बताया गया है कि लड़कियों को गलत काम करने पर मजबूर किया जाता है. उनके साथ मारपीट की जाती है, जो इसके लिए तैयार नहीं होतीं थी, उसे नशे का इंजेक्शन भी दिया जाता था. कई लड़कियों के शेलटर होम से भाग जाने की भी खबर है.

रिमांड होम की अधीक्षक वंदना गुप्ता पर आरोप

गायघाट बालिका गृह मामले को लेकर दिल्ली निर्भया केस की वकील सीमा कुशवाहा भी पीड़ित पक्ष की ओर से खड़ी हो गयी हैं. इस मामले में गुरुवार को पटना में महिला विकास मंच ने कांसा पिकोला रेस्टोरेंट के बैंक्वेट हॉल में प्रेस कॉन्फ्रेंस किया और गायघाट रिमांड होम की अधीक्षक वंदना गुप्ता पर आरोप लगाये. इस केस में उन्होंने कहा कि इस पूरे केस में बिहार सरकार को कार्रवाई करनी चाहिए और कमिटी का गठन करना चाहिए. इसकी जांच के लिए एसआईटी बननी चाहिए और इस केस की मॉनिटरिंग हाईकोर्ट करे. इसे भी पढ़ें – सिमडेगा">https://lagatar.in/restoration-work-of-all-12-approved-hostels-in-simdega-completed/">सिमडेगा

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