Ranchi : झारखंड हाई कोर्ट ने गुरुवार को 11 से 13वीं जेपीएससी परीक्षा में पास होने के बावजूद नियुक्ति प्रक्रिया से बाहर किए गए 10 सफल अभ्यर्थियों की याचिका पर सुनवाई की. इस दौरान हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को याचिका दायर करने वाले आठ अभ्यर्थियों को तुरंत नियुक्त कर उनकी जॉइनिंग कराते हुए ट्रेनिंग भेजने का निर्देश दिया है.
इस मामले की सुनवाई हाईकोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस आनंदा सेन की अदालत में हुई. इस संबंध में सफल अभ्यर्थी जितेंद्र रजक, सूरज कुमार यादव, नीरज कुमार, आशुतोष कुमार, सुदिति सुमन, रूपाली रोशन, सूरज कुमार और रूपेंद्र प्रसाद ने याचिका दायर की थी.
प्रार्थियों की ओर से अधिवक्ता अमृतांश वत्स ने बहस की. उन्होंने कोर्ट को बताया कि आयोग ने 10 अभ्यर्थियों को यह कहते हुए बाहर कर दिया था कि हाईकोर्ट के एक अन्य मामले में नौ सीटें आरक्षित रखी गई है.
जबकि जिन 8 अभ्यर्थियों ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है, वे मेरिट लिस्ट में काफी ऊपर हैं और अपने-अपने वर्ग में उच्च अंक प्राप्त कर चयनित हुए थे. अधिवक्ता ने तर्क दिया कि यदि सीट आरक्षित रखनी थी तो कम अंक वाले अभ्यर्थियों को रोका जाना चाहिए था, न कि ज्यादा अंक लाने वाले प्रार्थियों को.
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