New Delhi/ Tehran : ईरान-इजरायल के बीच चल जारी युद्ध के बीच ईरान के विभिन्न शहरों में पढ़ रहे 1,500 छात्र (अधिकतर छात्र जम्मू-कश्मीर के) समेत 10,000 से अधिक भारतीयों की जान सांसत में है. भारतीयों को वहां से सुरक्षित बाहर निकालने के लिए भारत सरकार ने अपने कूटनीतिक प्रयास तेज कर दिये हैं.
📢 ADVISORY/INSTRUCTIONS FOR INDIAN NATIONALS IN ISRAEL (AS ON JUNE 15) pic.twitter.com/ubDecSywqe
— India in Israel (@indemtel) June 15, 2025
खबरों के अनुसार सरकार ने ईरानी विदेश मंत्रालय से अनुरोध किया है कि असुरक्षित ईरानी हवाई क्षेत्र को देखते हुए भारतीयों को जमीनी रास्ते से बाहर निकालने की अनुमति प्रदान की जाये.
ईरानी विदेश मंत्रालय ने जमीनी सीमाओं को खोल दिया है
ईरानी विदेश मंत्रालय ने भारत सरकार के प्रस्ताव को मानते हुए जमीनी सीमाओं को खोल दिया है. जानकारी के अनुसार ईरान में फंसे भारतीयों को अर्मेनिया, अफगानिस्तान, अजरबैजान और तुर्कमेनिस्तान के रास्ते से निकाला जायेगा.इन देशों की सीमा ईरान से लगती है.
तेहरान ने भारतीयों के नाम, पासपोर्ट नंबर और वाहन से संबंधित जानकारी मांगी
ईरानी विदेश मंत्रालय ने बताया कि वर्तमान स्थिति और देश के हवाई अड्डों के बंद होने के कारण कई राजनीतिक मिशनों ने अपने राजनयिकों और नागरिकों को विदेश स्थानांतरित करने का अनुरोध किया है. तेहरान ने भारत सरकार से सीमा पार करने वाले भारतीयों के नाम, पासपोर्ट नंबर और वाहन से संबंधित जानकारी मांगी है.
सारी जानकारिया जनरल प्रोटोकॉल विभाग को मुहैया करानी होगी. खबरों के अनुसार ईरान ने भारतीयों की ईरान यात्रा का समय और वांछित सीमा, जहां से निकलना चाहेंगे, के बारे में पूछा है, ताकि राजनयिकों, नागरिकों और छात्रों की निकासी के समय सुरक्षा की व्यवस्था हो सके.
भारतीय दूतावास ने गूगल फॉर्म उपलब्ध कराये
भारतीय दूतावास ने ईरान में फंसे भारतीयों को सलाह दी है कि वे घबरायें नहीं, सावधानी बरतें और दूतावास के संपर्क में बने रहें. दूतावास ने अपने एक्स अकाउंट पर गूगल फॉर्म भी उपलब्ध कराते हुए भारतीय नागरिकों से इसे भरने को कहा है.
दूतावास ने एक टेलीग्राम लिंक उपलब्ध कराते हुए ईरान में भारतीय नागरिकों से मिशन से स्थिति पर अपडेट प्राप्त करने के लिए इसमें शामिल होने को कहा है.