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जमशेदपुर : टाटा ब्लूस्कोप में नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी, एसएसपी से शिकायत

Jamshedpur (Rohit Kumar) : शहर की बड़ी कंपनियों में नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करने का मामला प्रकाश में आया है. इस संबंध में आदित्यपुर निवासी शुभम कुमार ने एसएसपी समेत कदमा थाना में लिखित शिकायत की है. दरअसल ठगी करने वाली मेघा पांडेय कदमा उलियान स्थित एमपी सॉल्यूशन नामक कंपनी का संचालन करती है जिसके माध्यम से वह लोगों से कंपनियों में नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करती है. मेघा द्वारा फोन कर पहले लोगों को नौकरी दिलाने का झांसा दिया जाता है और उनसे एक बड़ी रकम ली जाती है. इधर, पीड़ित द्वारा शिकायत के बाद से मेघा पांडेय फरार चल रही है. इसे भी पढ़ें : चक्रधरपुर">https://lagatar.in/chakradharpur-on-august-9-a-program-will-be-held-at-toklo-maidan-on-world-tribal-day/">चक्रधरपुर

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टाटा ब्लूस्कोप में एचआर पद का दिया था झांसा

मामले को लेकर शुभम की अधिवक्ता दीपा सिंह ने बताया कि वर्ष 2019 में शुभम ने बीएससी पास कर नौकरी की तलाश शुरू की. वह इटरनेट पर नौकरी की तलाश करता रहा. इसी बीच एमपी सॉल्यूशन नामक कंपनी की मेघा पांडेय ने फोन पर शुभम से संपर्क किया. मेघा ने बिष्टुपुर स्थित इंडिया बुल्स फाइनेंस कंपनी में नौकरी दिलाने के लिए 50 हजार रुपये लिए. शुभम कंपनी में काम करता रहा. डेढ़ साल बाद कंपनी बंद हो गई जिसके बाद शुभम हैदराबाद में काम करने चला गया. हालांकि इस बीच शुभम के माता-पिता की तबियत ठीक नहीं रहने पर वह वापस जमशेदपुर लौट आया और फिर से नौकरी की तलाश करने लगा. मेघा पांडेय ने दोबारा शुभम से संपर्क किया और इस बार टाटा ब्लूस्कोप में नौकरी दिलाने के लिए 80 हजार रुपये की मांग की. चूंकि पूर्व में मेघा ने शुभम को नौकरी दिलाई थी इसलिए शुभम ने मेघा को रुपये दे दिए. इसे भी पढ़ें : जमशेदपुर">https://lagatar.in/jamshedpur-incident-in-manipur-is-a-blot-on-the-double-engine-government-of-center-and-state-sameer-mahanty/">जमशेदपुर

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रुपये वापस मांगने पर दिया था चेक

अधिवक्ता दीपा ने बताया कि काफी समय बीत जाने के बाद भी जब शुभम को नौकरी नहीं मिली तो उसने अपने रुपये वापस मांगे. पहले तो मेघा ने रुपये देने से इंकार किया फिर तीन चेक दिए जिसमें एक 80 हजार और दो 20-20 हजार के थे. सभी चेक बाउंस हो गए. चेक बाउंस के बाद जब शुभम ने मेघा से दोबारा रुपयों की मांग की तो मेघा द्वारा धमकियां दी जाने लगी. अधिवक्ता ने बताया कि जिस जगह पर मेघा पांडेय की कंपनी थी वह बंद हो चुकी है. आस-पास के लोगों से पूछताछ करने पर पता चला कि वह एक फर्जी कंपनी थी. [wpse_comments_template]

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