Ranchi : झारखंड नगरपालिका पथ कर नियमावली, 2025 के ड्राफ्ट प्रस्ताव पर झारखंड चैंबर ऑफ कॉमर्स ने कड़ा विरोध जताया है. रविवार को चैंबर भवन में आयोजित बैठक में पदाधिकारियों ने कहा कि वाणिज्यिक वाहनों पर अतिरिक्त पथ कर लगाने का प्रस्ताव अव्यावहारिक है, जिससे व्यापार और उद्योग जगत पर प्रतिकूल असर पड़ेगा.
बैठक में वक्ताओं ने कहा कि इस कर से परिवहन लागत बढ़ेगी, जिसके चलते आवश्यक वस्तुओं और सेवाओं की कीमतों में वृद्धि होगी. इसका सीधा असर आम उपभोक्ताओं पर पड़ेगा, वहीं छोटे व्यापारी और ट्रांसपोर्टर सबसे अधिक प्रभावित होंगे.
चैंबर ने अपनी आपत्ति पत्र में यह भी कहा कि नया कर डबल टैक्सेशन की श्रेणी में आता है क्योंकि पहले से ही मोटर व्हीकल टैक्स, टोल टैक्स, जीएसटी और बस स्टैंड शुल्क जैसे अनेक कर वसूले जा रहे हैं. कर संग्रह की प्रक्रिया से शहरों के प्रवेश बिंदुओं पर जाम और अव्यवस्था की आशंका भी जताई गई है.
चैंबर अध्यक्ष आदित्य मल्होत्रा ने कहा कि यह प्रस्ताव वन नेशन, वन टैक्स और जीएसटी सुधार की मूल भावना के विपरीत है. उन्होंने विभागीय मंत्री और सचिव से आग्रह किया कि इस प्रस्ताव को तत्काल वापस लिया जाए.
चैंबर महासचिव रोहित अग्रवाल ने जानकारी दी कि राज्यभर के विभिन्न व्यापारिक संगठनों से सुझाव प्राप्त हुए हैं और उन सबके अनुरूप आपत्ति दर्ज कर विभागीय निर्णय को शिथिल करने की मांग की गई है. बैठक में चैंबर अध्यक्ष आदित्य मल्होत्रा, उपाध्यक्ष प्रवीण लोहिया, महासचिव रोहित अग्रवाल और पूर्व अध्यक्ष किशोर मंत्री उपस्थित थे.
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