Kiriburu (Shailesh Singh) : रक्त सेवा सदस्य नामक व्हाट्सऐप ग्रुप ने हजारों लोगों की जान बचाई है. सारंडा पहले से मलेरिया जोन रहा है. सारंडा के सुदूरवर्ती गांवों में अत्यन्त गरीब आदिवासी व मूलवासी निवास करते हैं. इन गरीबों के पास खाने के लिये पौष्टिक आहार तक नहीं होता. यहीं कारण है कि यहाँ के लोग कुपोषण, टीबी, पिलिया (जौंडिस), टायफाईड आदि विभिन्न बीमारियों से ग्रसित हैं. यहां के महिला, पुरुष व बच्चे भारी तादाद में रक्त की कमी की समस्या से जूझ रहे हैं.
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व्हाट्सऐप ग्रुप से जुड़े लोग करते है रक्तदान
बड़ी समस्या तब सामने आ जाती है, जब मरीज की मौत रक्त की कमी से हो जाती है. ऐसे हीं मरीजों की जिंदगी बचाने के लिए किरीबुरु-मेघाहातुबुरु के युवाओं ने रक्त सेवा सदस्य नामक व्हाट्सऐप ग्रुप महीनों पूर्व बनाया था . इस ग्रुप से सैकड़ों युवा जुड़ते गये. आज सेल अस्पताल किरीबुरु में कोई मरीज रक्त की समस्या से ग्रसित रहता है तो अस्पताल प्रबंधन उस ग्रुप में रक्त समूह की आवश्यकता का मैसेज छोड़ देती हैं. इसके बाद बिना विलम्ब के संबंधित रक्त ग्रुप वाले युवक रक्तदान करने अस्पताल पहुंचने लगते हैं. ऐसा जज्बा सभी जगह युवाओं में होने लगे तो कोई भी मरीज की मौत रक्त की कमी से नहीं होगी.
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