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सरकार की तानाशाही से जन्माष्टमी में भी मायूस रहेंगे कृष्ण भक्त, धार्मिक स्थलों को खोलने की अनुमति दे सरकार : रघुवर दास

Ranchi : पूर्व सीएम रघुवर दास ने फिर राज्य के धार्मिक स्थलों को खोलने की मांग की है. उन्होंने कहा है कि झारखंड में धार्मिक स्थल छोड़कर सभी चीजें खुल गयी हैं. यह बात समझ से परे है. मंदिरों के नहीं खुलने से जहां धार्मिक भावनाएं आहत हो रही हैं. वहीं बड़ी संख्या में इनसे जुड़े लोग बेरोजगारी से शिकार हो गये हैं. उनके परिवारों का लालन-पालन मुश्किल हो गया है. देश के दूसरे शहरों में बड़े मंदिर भी भक्तों के लिए खोल दिये गये हैं. पुरी का जगन्नाथ धाम हो या उज्जैन का महाकालेश्वर मंदिर सभी भक्तों के लिए खोल दिये गये हैं. आज मथुरा-वृंदावन, द्वारका सभी स्थानों पर कृष्ण जन्माष्टमी धूमधाम से मनायी जायेगी, लेकिन झारखंड में हेमंत सरकार के तानाशाही रवैये के कारण यहां के कृष्ण भक्त मायूस ही रहेंगे. इसे भी पढ़ें- दिल्ली">https://lagatar.in/schools-and-colleges-are-opening-in-delhi-from-september-1-know-what-is-the-guideline/">दिल्ली

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क्या सरकार के पास कोविड प्रोटोकॉल लागू कराने की क्षमता नहीं

रघुवर दास ने कहा कि झारखंड में द्वादश ज्योतिर्लिंग बाबा बैद्यनाथ मंदिर से जुड़े पुजारी और दुकानदार आंदोलन कर रहे हैं. मां छिन्नमस्तिका द्वारा खुलवाने के लिए लोग आंदोलन कर रहे हैं, लेकिन इससे संवेदनहीन हेमंत सरकार का कोई सरोकार नहीं है. यह सही है कि कोरोना का खतरा अभी टला नहीं है, लेकिन कोरोना नियमों का पालन करते हुए जब देश के दूसरे बड़े मंदिर खोले जा सकते हैं, तो झारखंड के मंदिर क्यों नहीं खोले जा रहे हैं? क्या हेमंत सरकार के पास कोविड प्रोटोकॉल को लागू कराने की क्षमता या योग्यता नहीं है? कोविड प्रोटोकॉल का पालन कराते हुए मंदिरों और धार्मिक स्थलों को खोलने की अनुमति देनी चाहिए. इसे भी पढ़ें- 7">https://lagatar.in/contracts-of-12-city-managers-and-cltc-of-7-bodies-canceled-dma-removed-due-to-poor-performance-in-pmay-u/">7

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जल्द फैसला ले सरकार, नहीं तो आंदोलन करेगी बीजेपी

उन्होंने कहा कि सत्ताधारी दलों के नेताओं के स्वागत में कोविड प्रोटोकॉल की धज्जियां उड़ायी जाती हैं, उनके मंत्री भीड़ इकट्ठा कर भाषण देते हैं, उस समय हेमंत सोरेन सरकार को कोरोना की याद नहीं आती है. उन पर कोई कार्रवाई नहीं की जाती है. क्या तब कोरोना नहीं फैलता है? त्योहारों का मौसम शुरू हो गया है, लेकिन तुष्टिकरण से पीड़ित हेमंत सरकार ने अब तक इस दिशा में कोई कदम नहीं उठाया है. नवरात्र आने वाला है. एक महीने का ही समय बचा हुआ है, लेकिन नींद में सोई सरकार ने दुर्गा पूजा पर अब तक कोई निर्णय नहीं लिया है. पूजा-पंडाल वाले उनसे आग्रह कर रहे हैं, लेकिन हेमंत सोरेन सरकार की प्राथमिकताएं दूसरी हैं. सरकार के तानाशाही रवैये का हिंदू समाज विरोध करता है. सरकार ने शीघ्र कोई निर्णय नहीं लिया, तो भाजपा कार्यकर्ता सड़कों पर उतर कर इसका विरोध करेंगे. [wpse_comments_template]

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