96% किशोरियों में स्वास्थ्य और पोषण के मुद्दे पर बनी है व्यापक समझ, स्वास्थ्य और पोषण के मुद्दे पर कर रही जानकारी प्राप्त
Hazaribagh : किशोर-किशोरियों के कम उम्र में हो रहे विवाह को लेकर महिलाओं के खिलाफ हिंसा को सभी के लिए अस्वीकार बनाने के लिए काम करने वाली स्वयंसेवी संस्था ब्रेकथ्रू के सर्वे में यह सामने आया है कि कोविड के बाद से कम उम्र में होने वाले विवाहों में इजाफा हुआ है.
कार्यक्रम के दौरान ब्रेकथ्रू में हजारीबाग जिले की प्रमुख कहकशां ने बताया कि वर्तमान में ब्रेकथ्रू कटकमदाग, टाटीझरिया, सदर, पदमा और कटकमसांडी ब्लॉक की 39 ग्राम पंचायतों के 78 गांवों में कार्य कर रही है . इस सर्वे में यह पाया गया है कि आर्थिक रूप से कमजोर परिवार, दूल्हे के परिवार की ओर से दहेज की मांग नहीं करने पर लड़की की शादी की कानूनी उम्र तक इंतजार नहीं करना चाहते हैं. इसके अलावा सर्वे में यह भी देखा गया है कि अतिरिक्त रूढ़िवादी परिवारों में इस तरह के विवाह होने का प्रचलन आम है और इसमें सक्रिय भूमिका बुजुर्ग दादा-दादी की ओर से निभाई जाती है, जो पारंपरिक रूढ़िवादी विचारों को संजोते हैं. इसके अलावा सर्वे के दौरान देखा गया कि फील्ड एरिया में लैंगिक भेदभाव मौजूद है और जिले में किशोर-किशोरियों के बीच 78% तक लैंगिक भेदभाव पर समझ बन चुकी है.
इसके अलावा सर्वे में यह भी सामने आया है कि 96% किशोरियों में स्वास्थ्य और पोषण के मुद्दे पर व्यापक समझ बनी है और वह अब विभिन्न माध्यमों से स्वास्थ्य और पोषण के मुद्दे पर जानकारी प्राप्त कर रही है. यह भी देखा गया है कि तकरीबन 71% किशोरियां अपने परिवार में शादी और उससे जुड़े मुद्दे पर अब बात कर पा रही हैं.
ब्रेकथ्रू एक स्वयंसेवी संस्था है, जो महिलाओं और लड़कियों के खिलाफ होने वाली हिंसा और भेदभाव को समाप्त करने के लिए काम करती है.
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