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स्टेम लैब बनेगा आधार, बच्चे देंगे भविष्य को आकार

Ranchi: शिक्षा के क्षेत्र में लगातार">http://lagatar.in">लगातार

बदलाव हो रहा है. बच्चों को उनकी कल्पना के अनुसार उड़ान भरने के लिए रास्ते तैयार किए जा रहे हैं. समय-समय पर प्रायोगिक तौर पर शिक्षा के क्षेत्र में नई दिशाएं तैयार की जा रही हैं. इसी क्रम में रांची के कुछ प्रखंडों में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में स्टेम प्रयोगशालाएं स्थापित की जा रही हैं. परियोजना विशेष रूप से उन बच्चों पर केंद्रित है, जिनकी गणित, विज्ञान, प्रौद्योगिकी और इंजीनियरिंग में गहरी रुचि है. झारखंड के सरकारी स्कूलों को मॉडल स्कूल बनाने के लक्ष्य को परिलक्षित करने की दिशा में सरकार का यह दूसरा कदम है. [caption id="attachment_27487" align="aligncenter" width="864"]https://lagatar.in/wp-content/uploads/2021/02/9f83e9f0-b1cb-4e04-960c-cb86d7156060.jpg"

alt="Lagatar.in" width="864" height="1152" /> पायलट प्रोजेक्ट के तहत बनाया जा रहा आधुनिक स्टेम लैब[/caption]

अपनी कल्पना को दे सकेंगे उड़ान

विज्ञान, प्रौद्योगिकी, इंजीनियरिंग और गणित में रुचि रखने वाले सरकारी स्कूलों के नौनिहाल अब अपनी कल्पना को उड़ान दे सकेंगे. माध्यम बनेंगे स्टेम लैब. छात्रों को विज्ञान, तकनीक तथा गणित की बारीकियों से अवगत कराने तथा क्लास में प्राप्त ज्ञान को वास्तविक जीवन में उतारने के लिए ही स्टेम लैब की स्थापना की जा रही है. सरकार का मानना है कि परियोजना से न सिर्फ सरकारी स्कूलों की पढ़ाई को नई दिशा मिलेगी, बल्कि छात्रों के लिए यह अपनी सोच को आकार देने में भी सहायक होगा. यह लैब संबंधित प्रखंडों के सभी सरकारी स्कूलों के छात्र-छात्राओं के लिए होगी. प्रोजेक्ट के सकारात्मक परिणाम के उपरांत राज्य के सभी प्रखंडों में समान रूप से स्टेम लैब की स्थापना की योजना है. [caption id="attachment_27488" align="aligncenter" width="864"]https://lagatar.in/wp-content/uploads/2021/02/b1054030-5543-49eb-9355-4080d94684af.jpg"

alt="Lagatar.in" width="864" height="1152" /> बच्चों के बौद्धिक विकास के लिए बनाया गया आधुनिक लैब[/caption] इसे भी पढ़ें- राष्ट्रीय">https://lagatar.in/ideas-emerged-in-the-national-seminar-will-make-the-country-self-reliant-on-new-education-policy/27299/">राष्ट्रीय

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क्या है स्टेम लैब

स्टेम, एजुकेशन सिस्टम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है. इस सिस्टम के द्वारा विज्ञान, तकनीक तथा गणित विषय को विद्यार्थियों की योग्यता एवं रुचि के अनुसार रोचक तरीके से सिखाया जाता है. रांची में शुरू किये गए स्टेम लैब्स विश्वस्तरीय शिक्षा प्रदान करने में बच्चों के लिए अत्यंत लाभदायक सिद्ध हो सकते हैं. भारत में पारंपरिक शिक्षा प्रणाली अभी भी पुस्तकों पर केंद्रित है. जबकि, पुस्तकों के अतिरिक्त बच्चों को विषय का व्यावहारिक ज्ञान देना भी आवश्यक है. यही कार्य स्टेम लैब करता है. बच्चों को एक मंच मिलता है, जहां वे अपनी सोच को उकेर सकते हैं. इसे भी पढ़ें- तारूब">https://lagatar.in/tarub-village-reflexes-for-education-amidst-traditional-life/26487/">तारूब

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विश्वस्तरीय शिक्षा की पहल

स्टेम एजुकेशन सिस्टम के तहत स्कूलों के पाठ्यक्रम में पढ़ाए जाने वाले विषय से संबंधित विभिन्न आदर्श से लैब को सुसज्जित किया गया है. पिनहोल कैमरा, एलईडी-आधारित हार्ट, आई मॉडल, ईयर मॉडल, इन्फिनिटी वॉल, विभिन्न माध्यमों की ध्वनि, सोलर सिस्टम, हैंड पंप, सौर ऊर्जा प्रणाली, हाइड्रो टर्बाइन, मोटर मॉडल, सेंसर सेटअप, जेनरेटर, न्यूटन के गति के नियम, जैव विविधता, विभिन्न प्रकार के रोबोट, प्रोजेक्टर, टैब, इंटरएक्टिव कम्प्यूटिंग डिवाइस आदि के प्रादर्श लगाये गये हैं. लैब में स्थापित इनकी मदद से छात्रों को खुद कुछ करने की प्रेरणा मिले और उनके सोचने की क्षमता को विकसित किया जा सके. इसे भी देखें-

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