Ranchi : झारखंड सरकार ने ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों के अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, पिछड़ा वर्ग और अल्पसंख्यक युवाओं के लिए महत्वपूर्ण योजना शुरू की है - मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना. इस योजना का उद्देश्य है.
युवाओं में स्वरोजगार और उद्यमिता विकास को बढ़ावा देना है. इस योजना के माध्यम से झारखंड सरकार राज्य के युवाओं को स्वरोजगार और उद्यमिता के अवसर प्रदान कर रही है, जिससे वे अपने जीवन को बेहतर बना सकते हैं और राज्य के आर्थिक विकास में योगदान कर सकते हैं.
क्या है योजना की फैक्ट फाइल
ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों के अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, पिछड़ा वर्ग और अल्पसंख्यक युवाओं में स्वरोजगार और उद्यमिता विकास को बढ़ावा देना. योजना का क्रियान्वयन विभिन्न निगमों द्वारा किया जा रहा है, जिसमें झारखंड राज्य आदिवासी सहकारी विकास निगम लिमिटेड, झारखंड राज्य अनुसूचित जाति सहकारिता विकास निगम लिमिटेड और झारखंड राज्य अल्पसंख्यक वित्त एवं विकास निगम शामिल हैं. ऑनलाइन आवेदन cmegp.jharkhand.gov.in पर किया जा सकता है.
अब क्या है योजना की प्रगति
अनुसूचित जनजाति: वर्ष 2020-21 से 2024-25 तक जिलों को प्रदान की गई ऋण सह अनुदान की राशि ₹235.737 करोड़ है, जिससे 6133 लाभुकों को लाभ हुआ है. वर्ष 2020-21 से 2024-25 तक जिलों को विमुक्त की गई ऋण सह अनुदान की राशि ₹250.720 करोड़ है, जिससे 6450 लाभुकों को लाभ हुआ है.
क्या है मापदंड
• आयु सीमा: 18-50 वर्ष.
• वार्षिक पारिवारिक आय: अधिकतम ₹5,00,000.
• ऋण राशि: अधिकतम ₹25.00 लाख.
• लाभुक अंशदान: ₹50,000 से अधिक ऋण राशि पर 10% लाभुक अंशदान/मार्जिन मनी.
• ब्याज दर: ऋण अनुदान घटा कर शेष ऋण राशि पर 6% वार्षिक.
• ऋण अनुदान: ऋण राशि का 40% अथवा अधिकतम ₹5.00 लाख.
क्या है योजना का लाभ
• स्वरोजगार के अवसर: युवाओं को स्वरोजगार के अवसर प्रदान करना.
• उद्यमिता विकास: युवाओं में उद्यमिता विकास को बढ़ावा देना.
• आर्थिक विकास: राज्य के आर्थिक विकास में योगदान देना.
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