Ranchi : सिरमटोली चौक से लेकर कांटाटोली चौक तक सड़क किनारे बसे पुराने आदिवासी मोहल्लों की पहचान और नाम को फिर से ज़ाहिर करने की मांग तेज़ हो गई है. अखिल भारतीय आदिवासी विकास परिषद की रांची महानगर शाखा ने उपायुक्त को ज्ञापन सौंपते हुए कहा कि इन मोहल्लों के पारंपरिक नाम अब खोते जा रहे हैं.
परिषद का कहना है कि फ्लाईओवर और नई बस्तियों के बनने से इन मोहल्लों के असली नाम गुम हो गए हैं या बदल दिए गए हैं. जिससे आदिवासी इलाकों की पहचान खतरे में पड़ गई है. चूंकि ये इलाके अनुसूचित क्षेत्र में आते हैं और यहां आदिवासी समुदाय की बड़ी आबादी है, इसलिए पारंपरिक नामों की वापसी ज़रूरी है.
परिषद ने मांग की है कि सड़क किनारे बोर्ड लगाकर इन मोहल्लों के पारंपरिक नाम को दिखाया जाए, ताकि बाहर से आने वाले लोग और स्थानीय लोग आसानी से इन मोहल्लों को पहचान सकें. साथ ही मोहल्लों के नाम का सही उच्चारण और मतलब भी बना रहे.
ज्ञापन में इन मोहल्लों के नाम व पहचान को फिर से ज़ाहिर करने की मांग की गई है
1. सिरम टोली चौक से सटे मोहल्ले: सिरम टोली से बांयी ओर स्टेशन रोड में लाल सिरम टोली
2. गुंगु टोली–बनस तालाब के पास: संत माइकल ब्लाइंड स्कूल के पास
3. वाईएमसीए के पास: दाएं और नया टोली
4. बिरसा बस स्टैंड: चुनवा टोली
5. कांटाटोली चौक के पास: टंगटंग टोली, पथलकुदवा रोड, अमृत बाग व अन्य
6. बहुबाजार के पास: बाई ओर साहू टोली, दाएं ओर संत पॉल्स चर्च के पास धुमसा टोली, मकचुंद टोली
7. बिशप स्कूल के पास: बसर टोली, बिशप लॉज और कठर टोली