Ranchi : अनुसूचित जाति आयोग गठन, आरक्षण बहाली और प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करने की मांग को लेकर आज अखिल भारतीय अनुसूचित जाति समन्वय समिति के बैनर तले राजभवन के समक्ष एससी समुदाय ने जोरदार प्रदर्शन किया.इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने कहा कि आजादी का 78 वर्ष हो रहा है. बावजूद इसके एससी समुदाय आर्थिक, सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़ा हुआ है.
वक्ताओं ने कहा कि संवैधानिक अधिकार सिर्फ दस्तावेजों तक सीमित रह गए हैं. चतरा से आए सामाजिक कार्यकर्ता रंजय भारती ने कहा, झारखंड बनने के बाद हमें हक मिलना चाहिए था. लेकिन आज भी शिक्षा और स्वास्थ्य जैसी मूलभूत सुविधाओं से वंचित हैं.
रांची नगर निगम के महापौर पद को फिर से एससी वर्ग के लिए आरक्षित किया जाए. झारखंड विधानसभा के मुख्य द्वार पर डॉ. भीमराव अंबेडकर की मूर्ति स्थापित की जाए. कहा कि जो विधायक और सांसद समुदाय के संघर्ष में साथ नहीं देंगे, उनका सामाजिक बहिष्कार किया जाएगा.
इनकी ये मांगें हैं
- राज्य में अनुसूचित जाति आयोग का अविलंब गठन हो.
- एससी की आबादी के अनुपात में 12% आरक्षण लागू किया जाए.
- जेपीएससी, जेएससीए, सूचना आयोग, महिला आयोग, खाद्य आयोग सहित सभी संवैधानिक संस्थाओं में एससी समुदाय को उचित प्रतिनिधित्व मिले.
- रांची नगर निगम में अनुसूचित जाति के लिए आरक्षण को पुनः बहाल किया जाए.
- अनुसूचित जाति बहुल जिलों में 10 आवासीय विद्यालय स्वीकृत हों.
- एससी समुदाय के बच्चों के जाति एवं आवासीय प्रमाण पत्र बनवाने की प्रक्रिया सरल की जाए.
पहली बार वेजीटेबल मार्केट के सामने दिया धरना
रातु रोड ऐलिवेटेड कॉरिडोर बनने के बाद राजभवन के समक्ष किए जाने वाले धरना प्रदर्शन पर रोक लगा दिया गया है. सड़क जाम न हो इसके लिए धरना प्रदर्शन करने वाले लोगों के लिए वेजीटेबल मार्केट के सामने धरना के लिए स्थल बनाया गया है.कांके के पूर्व विधायक समरी लाल ने कहा कि 25 साल में पहली बार एससी समाज के लोग एकजुट हुए हैं. झारखंड के अंदर 10 लाख एससी समाज के सफाई कर्मी हैं, आज अनुसूचित जातियों के लिए अनुसूचित जातियों के लिए हॉस्टल नहीं बना पाया है.
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