Ranchi: जामताड़ा विधायक इरफान अंसारी के बाबा बैद्यनाथ मंदिर में पूजा करने का मामला तूल पकड़ता जा रहा है. बुधवार को जहां झारखंड में बीजेपी इस मुद्दे को लेकर विरोध दर्ज कराती रही. वहीं आज देश के कई हिंदू धर्मगुरुओं ने इसका विरोध किया है.
पुरी के शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद और निरंजनी अखाड़े के महामंडलेश्वर स्वामी कैलाशानंद ने इरफान अंसारी के बाबा बैद्यनाथ मंदिर में पूजा करने पर इसे जघन्य अपराध बताया है. स्वामी कैलाशनांद जल्द देवघर आयेंगे. स्वामी निश्चलानंद और स्वामी कैलाशानंद ने गोड्डा सांसद निशिकांत दुबे से फोन कर मामले की जानकारी ली.
कम से कम धार्मिक स्थलों को तो बख्श दीजिए
वहीं बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने आज प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि मधुपुर उपचुनाव के बहाने तुष्टिकरण की राजनीति चल रही है. उन्होंने कहा की बीजेपी सर्वधर्म पर भरोसा करती है, लेकिन हम आस्था के साथ खिलवाड़ किसी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेंगे. वहीं निशिकांत ने कहा कि इरफान अंसारी ने ज्योतिर्लिंग को स्पर्श कर अपवित्र करने का प्रयास किया है. कम से कम धार्मिक स्थलों पर सेकुलर होने की राजनीति नहीं करिये. इस जघन्य अपराध का प्रतिकार करिये. उन्होंने कहा कि जब इंदिरा गांधी देश की प्रधानमंत्री थीं तब भी उन्हें 1984 में पुरी के जगन्नाथ मंदिर में प्रवेश करने नहीं दिया गया था. शर्म करिये.
हमारे बनाये धागे से होता है शिव-पार्वती मंदिर का गठजोड़- इरफान
उधर इरफान अंसारी भी नये-नये तर्क देकर बैद्यानाथ मंदिर में पूजा करने को किसी भी हालत में गलत नहीं मान रहे. इरफान कह रहे हैं कि इतिहास पढ़ कर देखिये. मां-पार्वती और भगवान शंकर के मंदिर का गठजोड़ हमारे पूर्वजों के द्वारा बुने गये धागों से होता आया है. जब सदियों से हमारे बनाये धागे दो मंदिरों को जोड़ सकते हैं तो भोलेनाथ पर हमारी श्रद्धा क्यों नहीं हो सकती. निशिकांत पर हमला करते हुए इरफान ने कहा कि उनके नजर में वे पहली बार गये बाबा बैद्यनाथ मंदिर गये हैं, लेकिन पहले भी कई बाबा के दर पर जा चुके हैं.