Ranchi : जनजातीय अस्मिता और संस्कृति के पुरोधा पद्मश्री डॉ रामदयाल मुंडा की 86वीं जयंती पर शनिवार को एक दिवसीय संगोष्ठी आयोजित किया गया. यह आयोजन डॉ रामदयाल मुण्डा जनजातीय कल्याण शोध संस्थान, रुम्बुल और मुण्डारी साहित्य परिषद, रांची के संयुक्त तत्वावधान में हुआ.
मुख्य अतिथि विधायक नमन विक्सल कोनगाड़ी उपस्थित हुए. संगोष्ठी को संबोधित करते हुए प्रो. डॉ सत्यनारायण मुण्डा (पूर्व कुलपति, डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी विश्वविद्यालय), गणेश मुर्मू (सहायक प्राध्यापक, विनोबा भावे विश्वविद्यालय, हजारीबाग), साहित्यकार रणेन्द्र कुमार (पूर्व निदेशक, टीआरआई), कुलदीप चौधरी (आदिवासी कल्याण आयुक्त) कर्मा जिम्पा भुटिया (निदेशक, टीआरआई) ने कहा कि डॉ मुण्डा का जीवन और विचार आज भी दिशा देने वाले हैं. उनके सपनों को साकार करना ही सच्ची श्रद्धांजलि होगी.
इस अवसर पर झारखंडी भाषाओं में प्रकाशित होने वाले न्यूज पोर्टल ‘अबुआः न्यूज’ का लोकार्पण किया गया. साथ ही विभिन्न जनजातीय एवं क्षेत्रीय भाषाओं के रचनाकारों को सम्मानित किया गया.
ये हुए सम्मानित
मुंडारी भाषा से नबिन मुंडू एवं मंगल सिंह मुंडा, कुड़ुख डॉ हरि उरांव हो डॉ. दामयंती सिंकु, खड़िया भाषा इलियास बा शामिल हुए. वही खोरठा भाषा से डॉ. बीएन ओहदार, पंचपरगनिया डॉ करमचंद अहीर, नागपुरी: डॉ खालिक अहमद कुरमाली भाषा डॉ. एचएन सिंह और संथाली भाषा से डॉ केसी टुडु को सम्मानित किया गया. मौके पर मोनिका रानी टुटी, राकेश रंजन उरांव, रूबी कुमारी, अमृता प्रियंका एक्का, डॉ. अजीत मुण्डा और डॉ. खातिर हेमरोम शामिल हुए.
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