New Delhi : देश की राजधानी नई दिल्ली में शुक्रवार से तीन दिवसीय पांचवें राष्ट्रीय मुख्य सचिव सम्मेलन की शुरुआत हुई. यह सम्मेलन 26 से 28 दिसंबर तक चलेगा. सम्मेलन का नेतृत्व प्रधानमंत्री कर रहे हैं.
इसका उद्देश्य केंद्र और राज्यों के बीच बेहतर समन्वय स्थापित करना, सरकारी योजनाओं और नीतियों को जमीन पर प्रभावी ढंग से लागू करना और साझा प्रयासों से शासन व्यवस्था को मजबूत बनाना है.
राष्ट्रीय विकास से जुड़े महत्वपूर्ण मुद्दों पर विचार-विमर्श के माध्यम से केंद्र और राज्य सरकारों के बीच साझेदारी को और सशक्त करने पर जोर दिया जा रहा है.
इस राष्ट्रीय सम्मेलन में झारखंड सरकार की ओर से मुख्य सचिव अविनाश कुमार भाग ले रहे हैं. उनके साथ परिवहन विभाग के सचिव कृपानंद झा, योजना एवं विकास विभाग के सचिव मुकेश कुमार, विशेष सचिव राजीव रंजन सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी सम्मेलन में शामिल हैं.
सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री, नीति आयोग, केंद्रीय मंत्रालयों, राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के वरिष्ठ अधिकारियों तथा विषय विशेषज्ञों के साथ समन्वित चर्चा की जा रही है. इसका उद्देश्य बेहतर कार्यप्रणालियों को साझा करना और प्रभावी शासन मॉडल विकसित करना है.
सम्मेलन में इस वर्ष मानव पूंजी के विकास को केंद्र में रखा गया है. इसके तहत प्रारंभिक बाल्यावस्था शिक्षा, स्कूली शिक्षा, कौशल विकास, उच्च शिक्षा, खेल और पाठ्येतर गतिविधियों जैसे पांच प्रमुख क्षेत्रों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है. इन विषयों पर चर्चा के माध्यम से विकसित भारत के लक्ष्य को हासिल करने के लिए एक साझा विकास रोडमैप तैयार करने का प्रयास किया जा रहा है.
यह सम्मेलन नीति निर्माण को मजबूती देने के साथ-साथ केंद्र और राज्यों के बीच सहयोग को और गहरा करने की दिशा में महत्वपूर्ण माना जा रहा है. इसके जरिए समावेशी, सतत और भविष्य उन्मुख विकास के लिए एक मजबूत आधार तैयार होने की उम्मीद है.
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