Ranchi : सदर अस्पताल रांची के चिकित्सकों ने शनिवार को टीम भावना और त्वरित कार्रवाई की मिसाल पेश की. ग्राम जरगा, थाना अनगड़ा के रहने वाले 24 वर्षीय एम तिर्की को गंभीर अवस्था में इमरजेंसी लाया गया था. उसका गला बेहद गहरे तक कटा हुआ था, जिससे सांस की नली तक प्रभावित हो चुकी थी. परिजन उसे गले पर खून से सना गमछा बांधकर लेकर पहुंचे थे.
स्थिति की नाजुकता देखते हुए लेप्रोस्कोपिक सर्जन डॉ अजीत कुमार ने तुरंत हेड एंड नेक सर्जन डॉ अजय कुमार और प्लास्टिक सर्जन डॉ तन्मय प्रसाद से संपर्क कर ऑपरेशन थिएटर तैयार करने का निर्देश दिया. इस बीच उन्होंने उच्च पदाधिकारियों और पुलिस को घटना की सूचना भी दे दी. एनेस्थीसिया विभाग के इंचार्ज डॉ नीरज ने टीम के साथ मिलकर ओटी की तैयारी तुरंत पूरी करवाई.
मरीज को अस्पताल आने के सिर्फ 15 मिनट के भीतर ऑपरेशन शुरू कर दिया गया. करीब दो घंटे तक चले इस जटिल ऑपरेशन में मरीज के सांस लेने के लिए नया मार्ग बनाया गया, जिसे ट्रेकियोस्टॉमी कहा जाता है. एनेस्थीसिया टीम ने तुरंत आवश्यक जांचें जैसे खून जांच, एबीजी और सेरोलॉजी पूरी कीं और मरीज को बेहोश कर ऑपरेशन शुरू किया गया.
फिलहाल मरीज आईसीयू में डॉ अजीत और आईसीयू टीम की निगरानी में है. डॉक्टरों के अनुसार, अगले 72 घंटे मरीज के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं. अस्पताल प्रशासन ने बताया कि पूरा ऑपरेशन निशुल्क किया गया.सिविल सर्जन डॉ प्रभात कुमार और उपाधीक्षक डॉ विमलेश सिंह ने त्वरित और प्रभावी कार्रवाई के लिए पूरी चिकित्सा टीम को बधाई दी.
ऑपरेशन करने वाली टीम में हेड एंड नेक सर्जन डॉ अजय कुमार विद्यार्थी, लेप्रोस्कोपिक सर्जन डॉ अजीत कुमार, प्लास्टिक सर्जन डॉ तन्मय प्रसाद, एनेस्थीसिया विभाग के डॉ नीरज, डॉ वसुधा गुप्ता, डॉ आंचल और डॉ विकास बल्लभ शामिल थे. ओटी टीम में सिस्टर इंचार्ज स्नेहलता, संतोष, कंचन, संजू, सीमा, सुरेश, नंदिनी और विरंजन ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई.
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